बंगाल में जादवपुर विश्वविद्यालय में फिर से माहौल गरमा गया है. कैंपस के गेट नंबर 4 के सामने एबीवीपी और वामपंथी छात्र आमने-सामने आ गए. ये घटना उस वक्त की है जब एबीवीपी के छात्रों ने परिसर में घुसने की कोशिश की. इसके बाद दोनों समूहों के बीच झड़प हुई. आरोप है कि एबीवीपी से जुड़े छात्रों ने AIDSO/SFI के झंडे और पोस्टर फाड़ दिए. इसके बाद काफी देर तक नारेबाजी हुई.
बता दें कि एबीवीपी ने शनिवार की घटना के विरोध में जुलूस निकाला था. ये जुलूस विश्वविद्यालय के गेट नंबर चार पर पहुंचा था, तब गेट खुला था. कथित तौर पर कुछ एबीवीपी समर्थक विश्वविद्यालय में घुस गए. आरोप है कि उन्होंने परिसर के अंदर नारेबाजी शुरू कर दी. उन्होंने विश्वविद्यालय के अंदर राजनीतिक संगठनों के पोस्टर और बैनर भी अंधाधुंध तरीके से फाड़ने शुरू कर दिए.
छात्र और सुरक्षा गार्ड आए और गेट बंद करने की कोशिश की
इसके बाद गेट पर चढ़ने की कोशिश की और अपने संगठन का झंडा गेट पर बांध दिया. इसके बाद स्थिति नियंत्रण से बाहर हो गई. तभी विश्वविद्यालय के कुछ छात्र और सुरक्षा गार्ड आए और गेट बंद करने की कोशिश की. इस दौरान दोनों पक्षों के बीच हाथापाई शुरू हो गई. इसके बाद एबीवीपी समर्थकों को बाहर निकाला गया और विश्वविद्यालय के गेट बंद कर दिए गए.
वामपंथी छात्रों ने पिटाई की और भगा दिया: एबीवीपी समर्थक
एबीवीपी समर्थकों का दावा है कि वामपंथी छात्रों ने उनकी पिटाई की और भगा दिया. हालांकि, इस आरोप को वामपंथियों ने खारिज किया है. उनका दावा है कि एबीवीपी समर्थक अचानक विश्वविद्यालय में प्रवेश करके स्थिति बिगाड़ने की कोशिश कर रहे हैं. दोनों ओर से दो महिला समर्थकों को ये कहते हुए सुना गया कि क्या आपको विश्वविद्यालय के अंदर गुंडा बनने पर शर्म नहीं आती. दूसरी ओर एक अन्य महिला ने कहा, आप लोग कैंपस के अंदर गुंडे हैं.
पुलिस ने क्या कहा?
पुलिस का कहना है कि गोलपार्क से शुरू हुई एबीवीपी-बीजेवाईएम की रैली करीब खत्म होने ही वाली थी तभी संगठन के करीब 100 सदस्य विश्वविद्यालय के गेट नंबर चार की ओर दौड़ पड़े. वो अंदर घुस गए और एसएफआई व वामपंथी छात्र समूहों के खिलाफ नारे लगाने लगे. उन्होंने विश्वविद्यालयों में वामपंथियों द्वारा हड़ताल के समर्थन में लगाए गए पोस्टर फाड़ दिए.