नई दिल्ली। देश के सबसे बड़े केंद्रीय अर्धसैनिक बल, केंद्रीय रिज़र्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) ने अपने शहीद कर्मियों के परिवारों को मिलने वाली एकमुश्त सहायता राशि में वृद्धि की है। साथ ही, जोखिम निधि अंशदान और सेविंग व रिस्क फैक्टर को केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देशानुसार 60:40 के अनुपात में संशोधित किया गया है।

सीआरपीएफ में शहीद कर्मियों के परिवारों को अब मुठभेड़ के दौरान मिलने वाली एकमुश्त सहायता राशि 30 लाख रुपये से बढ़ाकर 35 लाख रुपये कर दी गई है। अन्य मृत्यु मामलों में यह राशि पहले 20 लाख रुपये थी, जिसे अब 25 लाख रुपये कर दिया गया है। शासी निकाय की वर्ष 2024-25 की बैठक में इस निर्णय को सर्वसम्मति से मंजूरी दी गई है। यह वृद्धि 1 जनवरी 2026 से लागू होगी।

पूर्व में, सीआरपीएफ ने 2022 में भी शहीद कर्मियों के परिजनों के लिए अनुग्रह राशि में वृद्धि की थी। उस समय ड्यूटी पर शहीद होने वाले जवानों के परिजनों को 20 लाख रुपये से बढ़ाकर 30 लाख रुपये देने की घोषणा की गई थी। अन्य मृत्यु मामलों में राशि 15 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये की गई थी।

जोखिम निधि अंशदान राशि भी बढ़ाकर 500 रुपये से 800 रुपये प्रतिमाह कर दी गई है। नए संशोधन के अनुसार, प्रत्येक कार्मिक द्वारा 800 रुपये में से 480 रुपये सेविंग और 320 रुपये रिस्क फैक्टर के रूप में जमा किए जाएंगे।

इसके अलावा, सेवा समाप्ति या सेवानिवृत्ति पर मिलने वाले बोनस की दर में भी बदलाव किया गया है। अब सेवा की अवधि 30 साल से अधिक होने पर 100 प्रतिशत, 20-30 साल के लिए 50 प्रतिशत, 10-20 साल के लिए 25 प्रतिशत और 10 साल से कम सेवा अवधि वाले कर्मियों के लिए 10 प्रतिशत बोनस मिलेगा।

यह निर्णय सीआरपीएफ द्वारा शहीद और सेवानिवृत्त कर्मियों के कल्याण को मजबूत करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।