रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शुक्रवार को पाकिस्तान पर कटाक्ष करते हुए कहा कि भारत और पाकिस्तान ने एक ही समय पर आजादी हासिल की थी, लेकिन दोनों देशों की स्थिति आज बिल्कुल अलग है। उन्होंने कहा कि जहां भारत ने मेहनत, सही नीतियों और दूरदर्शिता के सहारे फरारी जैसी अर्थव्यवस्था खड़ी की, वहीं पाकिस्तान की हालत अब भी मलबे से लदे डंपर जैसी है।
उन्होंने पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर के हालिया बयान का जिक्र करते हुए कहा, “मुनीर ने खुद कहा था कि भारत एक फरारी जैसी मर्सिडीज है, जो हाइवे पर दौड़ रही है और पाकिस्तान बजरी से भरा डंप ट्रक है। अगर डंप ट्रक उस कार से टकरा जाए तो किसका नुकसान होगा? यह उनकी अपनी स्वीकारोक्ति है।”
राजनाथ सिंह ने आगे कहा कि इस बयान को लेकर पाकिस्तान और दुनिया भर में मुनीर की आलोचना हुई। लोग पूछने लगे कि जब दोनों देशों को एक साथ आजादी मिली, तो क्यों भारत ने विकास की गाड़ी फरारी जैसी दौड़ा दी और पाकिस्तान अब भी डंपर की हालत में फंसा हुआ है। उन्होंने कहा, “मैं इसे केवल मजाक नहीं मानता, बल्कि इसे पाकिस्तान की असलियत की स्वीकारोक्ति समझता हूं। अगर हम इस चेतावनी को गंभीरता से लें, तो भारत किसी भी खतरे का डटकर मुकाबला करने के लिए तैयार है।”
‘वैश्विक सप्लाई चेन को मजबूत करने की क्षमता भारत में’
रक्षा मंत्री ने कहा कि जब दुनिया के कई देश आपूर्ति श्रृंखला में बाधाओं का सामना कर रहे हैं, उस समय भारत इसे मजबूत बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। उन्होंने कहा, “आज बड़े देश ‘चाइना प्लस’ की बात कर रहे हैं। सोचिए, भारत के अलावा ऐसा कौन-सा देश है जो यह जिम्मेदारी उठा सकता है? जवाब साफ है—केवल भारत ही।”
निवेशकों से अपील
उन्होंने विदेशी कंपनियों और निवेशकों से भारत के रक्षा उत्पादन क्षेत्र में निवेश करने का आग्रह किया। सिंह ने कहा, “हम आपको हर जरूरी अनुमति देंगे और पूरा सहयोग करेंगे। हमारा ‘मेक इन इंडिया’ केवल भारत तक सीमित नहीं है, बल्कि पूरी दुनिया की जरूरतों को पूरा करने के लिए है।”
‘आत्मनिर्भर भारत’ की व्यापक सोच
राजनाथ सिंह ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत सिर्फ आयात घटाने की नीति नहीं है, बल्कि इसके पीछे वैश्विक कल्याण की सोच है। उन्होंने कहा, “आज भारत को लेकर दुनिया भर में उम्मीद और भरोसे का माहौल बना है।”
‘एआई और सेमीकंडक्टर्स पर मिशन मोड में काम’
रक्षा मंत्री ने बताया कि भारत की एआई क्षमताओं को बढ़ाने के लिए सरकार ने ‘इंडिया-एआई मिशन’ शुरू किया है। इसके तहत देश की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए एआई मॉडल विकसित किए जाएंगे। साथ ही सरकार सेमीकंडक्टर्स पर मिशन मोड में काम कर रही है। उन्होंने कहा कि इस साल के अंत तक मेड इन इंडिया सेमीकंडक्टर्स बाजार में उपलब्ध होंगे।
‘भारत के नेतृत्व में नई विश्व व्यवस्था संभव’
सिंह ने कहा कि मौजूदा वैश्विक व्यवस्था ने कुछ देशों को समृद्धि दी है, लेकिन बड़ी आबादी को असमानता और असुरक्षा के अलावा कुछ नहीं मिला। इसलिए एक नई नियम-आधारित विश्व व्यवस्था की आवश्यकता है, जिसमें बराबरी, साझेदारी और सहयोग हो। उन्होंने कहा कि यह व्यवस्था केवल भारत के नेतृत्व में ही संभव है।
भारतीय दर्शन पर जोर
राजनाथ सिंह ने कहा कि भारतीय दृष्टिकोण वैश्विक व्यवस्था को वर्चस्व की लड़ाई नहीं मानता। भारतीय दर्शन सबके सम्मान, सामंजस्य और सामूहिक यात्रा की बात करता है। उन्होंने कहा, “हमारी परंपरा ताकत का उपयोग दूसरों पर शासन करने के लिए नहीं, बल्कि उनकी देखभाल करने के लिए मानती है। भारत संकीर्ण स्वार्थ नहीं, बल्कि वैश्विक कल्याण की भावना से प्रेरित है।”