कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में महिला डॉक्टर के साथ दरिंदगी के विरोध में 27 अगस्त को छात्र संगठन विरोध प्रदर्शन करेंगे। ये विरोध प्रदर्शन नबन्ना तक के लिए प्रस्तावित है, जिसमें छात्र संगठन राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से इस्तीफे की मांग करेंगे। फिलहाल राज्य की पुलिस की तरफ से इस रैली को अवैध बताया गया है और इसका आयोजन बिना अनुमति के किया जा रहा है।
भाजपा ने कहा- हम छात्रों के साथ हैं
वहीं छात्र संगठनों के नबन्ना रैली को लेकर राज्य में राजनीति भी चरम पर है। एक तरफ भाजपा ने इस रैली का समर्थन किया है तो दूसरी तरफ सत्ताधारी दल तृणमूल कांग्रेस ने इसे लेकर विपक्षियों पर निशाना साधा है। केंद्रीय मंत्री और पश्चिम बंगाल भाजपा अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने कहा, कल पश्चिम बंगाल के छात्र शांतिपूर्ण लोकतांत्रिक तरीके से विरोध प्रदर्शन करने जा रहे हैं, इसमें बाधा डालने का क्या मतलब है? छात्रों ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से इसकी घोषणा की है, जिसका मतलब है कि आप (पुलिस) इसके बारे में जानते हैं। उन्होंने आगे कहा कि भाजपा का रुख स्पष्ट है, यह भाजपा का आंदोलन नहीं है लेकिन हम इसका समर्थन करते हैं, यह छात्रों का आंदोलन है, यह एक गैर-राजनीतिक आंदोलन है, हम छात्रों के साथ हैं।
टीएमसी ने विपक्ष पर किया पलटवार
इधर विपक्षी पार्टियों पर पलटवार करते हुए तृणमूल कांग्रेस ने कहा राम और वाम पश्चिम बंगाल में टीएमसी के खिलाफ अराजकता पैदा करना चाहते हैं। मामले में टीएमसी नेता कुनाल घोष ने कहा कि भाजपा, सीपीएम और कांग्रेस सभी एक हैं। भाजपा नबन्ना अभियान कर रही है और कांग्रेस उसका समर्थन कर रही है और सीपीएम जो भी कहे, लेकिन वे सभी प्रदर्शन के बारे में बात कर रहे हैं। राम-वाम और सभी पश्चिम बंगाल में टीएमसी के खिलाफ अराजकता पैदा करने के लिए साथ आ रहे हैं।
नबन्ना अभियान को पुलिस ने बताया अवैध
इन सबके बीच पश्चिमबंग छात्र समाज की तरफ से आहूत नबन्ना अभियान पर कोलकाता के अतिरिक्त पुलिस आयुक्त सुप्रतिम सरकार ने कहा कि उन्होंने सोशल मीडिया और प्रेस के माध्यम से घोषणा की थी कि वे 27 अगस्त को नबन्ना अभियान नाम का कार्यक्रम करने जा रहे हैं, लेकिन उन्होंने अनुमति नहीं ली, जो कि उच्च न्यायालय के निर्देशों के अनुसार अनिवार्य आवश्यकता है। हमें दो अलग-अलग संगठनों से दो ईमेल प्राप्त हुए हैं, पश्चिमबंग छात्र समाज से हमें जो ईमेल प्राप्त हुआ है, वह एक सूचना है। यह औपचारिक अनुमति पत्र नहीं है। उन्होंने केवल यह सूचित किया है कि वह कार्यक्रम करने जा रहे हैं और इस मेल में भी उन्होंने उन विवरणों का खुलासा नहीं किया है, जिन्हें कार्यक्रम के शांतिपूर्ण संचालन के लिए पुलिस के साथ साझा किया जाना आवश्यक है। इसलिए, उनका आवेदन अस्वीकार कर दिया गया है।
कल यूजीसी नेट की राष्ट्रीय स्तर की परीक्षा है। राज्य से कई उम्मीदवार उस परीक्षा में बैठेंगे। इस तरह के किसी भी जमावड़े की अनुमति देने से यातायात बाधित होगा, जिससे उम्मीदवारों को गंभीर असुविधा होगी।