कनाडा में खालिस्तान के समर्थन में नारेबाजी बाद भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। भारत का कहना है कि कानून का सम्मान करने वाले देशों को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के नाम पर कट्टरपंथियों को इस तरह की अनुमति देना गलत है। भारत ने इस घटना की कड़ी निंदा करते हुए कहा है कि असामाजिक तत्वों को बढ़ावा देना कसी भी हाल में सही नहीं है।
‘हिंसा का महिमामंडन करना ठीक नहीं’
भारतीय विदेश मंत्रालय द्वारा जारी एक बयान में कहा गया ‘हिंसा का जश्न मनाना और उसका महिमामंडन करना किसी भी सभ्य समाज का हिस्सा नहीं होना चाहिए। जो लोकतांत्रिक देश कानून का सम्मान करते हैं, उन्हें कट्टरपंथियों को इस तरह की हरकतों की अनुमति नहीं देनी चाहिए।’
‘अपराधी और अलगाववादियों को आश्रय देना बंद करें’
भारत ने कहा है कि कनाडा सरकार को अपराधियों और अलगाववादियों को आश्रय देना बंद कर देना चाहिए। विदेश मंत्रालय ने कहा कि पिछले वर्ष एक जुलूस में भारत के पूर्व प्रधानमंत्री के खिलाफ एक रैली निकाली गई थी। इसके अलावा भारतीय राजनयिकों के खिलाफ हिंसा की धमकी वाले पोस्टर भी लगाए गए। मंत्रालय का कहना है ‘हम कनाडा में अपने राजनयिकों की सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं और कनाडा सरकार से उम्मीद करते हैं कि हमारे अधिकारी बिना किसी डर के अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करेंगे।’ विदेश मंत्रालय ने कनाडा सरकार से अलगाववादियों को पनाह देने पर रोक लगाने के लिए कहा है।