सरकार बिजली बिल भरने में अक्षम जम्मू-कश्मीर के लोगों का ख्याल रखेगी। लेकिन, आलीशान घर, 5-इंटरनेट सेवा वाले आईफोन और अन्य गैजेट रखने वालों को बिल देना ही होगा। यह बात उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कुलगाम के दक्षिणी जिले में मिनी-सचिवालय में एक सभा को संबोधित करते हुए कही। उन्होंने कहा कि लोगों को कम से कम बिजली बिल का भुगतान करने में बहाना नहीं बनाना चाहिए।
मनोज सिन्हा ने कहा कि 70 वर्षों में जम्मू-कश्मीर में स्थानीय स्तर पर 3400 मेगावाट बिजली का उत्पादन किया गया है। अगले तीन साल में इतनी ही मेगावाट बिजली का उत्पादन करेंगे। इसके बाद 100 फीसदी मीटर वाले फीडर पर एक मिनट के लिए भी बिजली कटौती नहीं होगी। इसलिए लोग स्मार्ट मीटर लगाने की प्रक्रिया को जल्द पूरा करने में सहयोग करें।
जम्मू-कश्मीर के लोगों को अन्य राज्यों की तुलना में सबसे सस्ती बिजली मिल रही है। पिछले तीन से चार साल में बाहर से 20 हजार करोड़ रुपये की बिजली उधार ली है। इसलिए लोगों को उपयोग के अनुसार बिल का भुगतान भी करना चाहिए।
जल्द देश में नंबर एक पर होगी प्रदेश के किसानों की आय
एलजी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर की बर्फबारी के चलते कुछ परियोजनाओं में देरी हो जाती है। हम देरी की इस परंपरा को तोड़ने की कोशिश कर रहे हैं। वहीं, कहा कि वर्तमान में जम्मू-कश्मीर के किसानों की आय देश में 5वें नंबर पर है। जल्द हमारे किसानों की आय नंबर एक पर होगी।