मुजफ्फरनगर: कपिलदेव के समर्थकों ने शिव चौक पर आतिशबाजी की

मुजफ्फरनगर। विधानसभा चुनाव में जीत की हैट्रिक लगाने वाले सदर विधायक कपिलदेव अग्रवाल की फिर ताजपोशी की गई। उन्हें राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार बनाया गया है। योगी सरकार के पहले कार्यकाल में अग्रवाल कौशल विकास राज्यमंत्री रहे थे। फिर से जिम्मेदारी मिलने पर समर्थकों ने शहर के शिव चौक पर आतिशबाजी की। गांधीनगर स्थित उनके आवास पर भी मिठाई बांटी गई।
मुजफ्फरनगर और शामली जिले में सपा-रालोद गठबंधन की हवा के बीच सदर सीट पर कपिल देव अग्रवाल ने अपना कौशल दिखाते हुए जीत दर्ज की। लगातार तीसरी जीत के बाद अग्रवाल का कद पश्चिम यूपी की वैश्य समाज की राजनीति में बढ़ा है। भाजपा ने वैश्य समाज को मंत्री मंडल में हिस्सेदारी देते हुए कपिल देव को फिर से नई जिम्मेदारी दी है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के शपथ ग्रहण समारोह में सदर विधायक ने राज्यमंत्री की शपथ ली है। मंत्रालय के आवंटन के लिए अभी इंतजार करना पड़ेगा। भाजपा कार्यकर्ताओं के बीच खुशी की लहर है। शहर के गांधीनगर स्थिति आवास पर मिठाई बांटकर खुशी मनाई।
पहली हार के बाद निखरते गए कपिलदेव
मुजफ्फरनगर। राजनीति की पिच पर कपिल देव अग्रवाल का सिर्फ पहला अनुभव खराब रहा था। भाजपा के टिकट पर साल 2002 का चुनाव सदर विधानसभा सीट से लड़ा, लेकिन सपा के चित्तरंजन स्वरूप ने उन्हें हरा दिया था, लेकिन इसके बाद अग्रवाल ने पीछे मुड़कर नहीं देखा और जीत की हैट्रिक लगाई। मंत्रालय में उन्हें दूसरी बार जगह मिली है।
साल 2002 के चुनाव में चितरंजन स्वरूप को 58 हजार 932 और कपिलदेव को 49 हजार 809 वोट मिले थे। हार से शुरू हुई राजनीति जीत में ऐसी बदली कि फिर उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। 2007 में वह शहर पालिकाध्यक्ष बनें और सक्रिय रहे।
2007 में सदर सीट से अशोक कंसल विधायक चुने गए, लेकिन कंसल 2012 में चुनाव हार गए और चितरंजन स्वरूप जीतकर मंत्री बने। 2016 में चितरंजन स्वरूप का निधन हुआ तो उपचुनाव में भाजपा के टिकट पर कपिल देव पहली बार विधायक बने।
इसके बाद 2017 में जीतकर वह विधानसभा पहुंचे। योगी मंत्री मंडल में उन्हें कौशल विकास राज्यमंत्री बनाया गया। 2022 में मुजफ्फरनगर और शामली से भाजपा ने दो सीट पर जीत दर्ज की। इनमें सदर सीट से कपिल देव और खतौली से विक्रम सैनी जीते। मंत्रालय की बाजी आखिर में कपिल देव के हाथ लगी।
किला परीक्षितगढ़ से शुरू हुआ था सफर
राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार बनाए गए कपिल देव अग्रवाल शहर के गांधीनगर में रहते हैं। वह मूल रूप से मेरठ के किला परीक्षितगढ़ के रहने वाले हैं। उनके पिता रमेश चंद जिले में गन्ना विभाग में कार्यरत थे, जिस कारण परिवार मुजफ्फरनगर शिफ्ट हो गया और यहीं पर रहने लगे।
ऐसा है कपिल देव अग्रवाल का परिवार
राज्यमंत्री कपिल देव के परिवार में पत्नी अनु अग्रवाल, बेटा शिवम अग्रवाल, देवांश और बेटी कनिका है। मंत्री के भाई आदित्य अग्रवाल और ललित अग्रवाल भी साथ रहते हैं।

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