बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने बताया कि राज्य में अत्याधुनिक अग्नि परीक्षण एवं प्रशिक्षण केंद्र की स्थापना को 18.67 करोड़ रुपये की लागत से स्वीकृति प्रदान की गई है। यह केंद्र अग्निशमन सेवाओं, आपदा प्रबंधन और फायर सेफ्टी के क्षेत्र में युवाओं को तकनीकी एवं व्यावसायिक प्रशिक्षण देगा, जिससे उनके लिए रोजगार के नए रास्ते खुलेंगे।
डिप्टी सीएम ने बताया कि राज्य सरकार ने फायर सेफ्टी क्षेत्र में एक अहम कदम उठाते हुए ‘सेंटर ऑफ एक्सीलेंस फॉर फायर टेस्टिंग, ट्रेनिंग एंड रिसर्च लेबोरेटरी’ की स्थापना का निर्णय लिया है। इस परियोजना के तहत भवन निर्माण, अत्याधुनिक उपकरणों की खरीद और आधारभूत ढांचे के विकास पर 17.36 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। वहीं, अगले पांच वर्षों तक इसके संचालन और रखरखाव के लिए 1.31 करोड़ रुपये सालाना आवंटित किए गए हैं, जिनसे मानव संसाधन, तकनीकी कर्मी और प्रशासनिक जरूरतों को पूरा किया जाएगा।
बैंकों की रैंकिंग अब प्रदर्शन आधारित
उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने यह भी बताया कि राज्य सरकार ने बैंकों की कार्यक्षमता को सुधारने के लिए एक नई प्रदर्शन-आधारित रैंकिंग प्रणाली को मंजूरी दी है। यह स्कोरिंग इंडेक्स उन मानकों पर आधारित होगा जिनमें वार्षिक ऋण योजना की उपलब्धि, सीडी रेशियो में सुधार, प्राथमिकता वाले क्षेत्रों जैसे कृषि, पशुपालन, मत्स्य पालन आदि में ऋण वितरण, स्वयं सहायता समूहों को कर्ज, और केंद्र/राज्य सरकार की योजनाओं (मुद्रा योजना, किसान क्रेडिट कार्ड, पीएमईजीपी आदि) में भागीदारी शामिल हैं।
इस स्कोरिंग प्रणाली के अंतर्गत 40 अंक से कम स्कोर करने वाले बैंक राज्य की योजनाओं और सरकारी निधियों से वंचित रहेंगे। चौधरी ने कहा कि राज्य के आर्थिक विकास में बैंकों की भूमिका केवल धनराशि की सुरक्षा तक सीमित नहीं है, बल्कि वे कृषि, उद्योग, सेवा और व्यापार क्षेत्रों में कर्ज देकर रोजगार सृजन में भी महत्वपूर्ण योगदान देते हैं। इस पहल से बैंकों की जवाबदेही तय होगी और कार्य में पारदर्शिता भी आएगी।