महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने शनिवार को कहा कि शिवसेना हर गुजरते दिन के साथ मजबूत हो रही है और सभी दलों के नेता इसमें शामिल हो रहे हैं. यहां एकनाथ पर्व को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि जून 2022 से 2024 के अंत तक मुख्यमंत्री के रूप में उनके कार्यकाल में कई कल्याणकारी योजनाएं आईं, जिनमें प्रमुख लाडकी बहिन योजना भी शामिल है, जिसके तहत ढाई लाख रुपए से कम वार्षिक पारिवारिक आय वाली महिलाओं को मासिक सहायता के रूप में 1500 रुपए मिलते हैं.

शिवसेना (यूबीटी) के प्रमुख उद्धव ठाकरे पर बिना नाम लिए निशाना साधते हुए उपमुख्यमंत्री ने कहा कि वह कोरोना महामारी के दौरान मैदान पर थे, जबकि कुछ लोग घर पर ही रहे.

शिवसेना का दीया जलता रहेगा

एकनाथ शिंदे और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नेता अक्सर कोरोना महामारी के दौरान तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर मुंबई के बांद्रा इलाके में अपने घर मातोश्री से प्रशासन को संचालित करने का आरोप लगाते रहे हैं. शिंदे ने कहा कि शिवसेना दिन-प्रतिदिन मजबूत होती जा रही है और विभिन्न दलों के नेता प्रतिदिन हमारे साथ जुड़ रहे हैं. हवाएं भले ही (बुझाने की) कोशिश करें, लेकिन शिवसेना का दीया जलता रहेगा.

नेता छोड़ रहे ठाकरे गुट का साथ

बता दें कि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के तीन महीने बाद ही उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना (यूबीटी) को लगातार झटके लगने शुरू हो गए हैं. हाल के दिनों में पार्टी के कई दिग्गज नेता एकनाथ शिंदे के खेमे में शामिल हो रहे हैं. हाल ही में, तीन बार के विधायक और ठाकरे परिवार के कट्टर समर्थक राजन साल्वी ने अपने समर्थकों के साथ शिंदे गुट का दामन थाम लिया. इसके अलावा, कोंकण क्षेत्र के एक अन्य पूर्व विधायक और शिवसेना (यूबीटी) के कई पदाधिकारी भी शिंदे की पार्टी में शामिल हो चुके हैं. पार्टी छोड़ने वालों में महिला शाखा की प्रमुख नेता राजुल पटेल भी शामिल हैं, जिससे ठाकरे गुट की स्थिति और कमजोर होती दिख रही है.