लखनऊ। दस अक्तूबर को राजधानी लखनऊ में हुई बसपा की रैली में उत्तर प्रदेश सरकार की तारीफ करने पर सपा और कांग्रेस के निशाने पर आईं बसपा सुप्रीमो मायावती ने बृहस्पतिवार को तीखा पलटवार किया। उन्होंने कहा कि सपा और कांग्रेस में राजनीतिक ईमानदारी और साहस की कमी है, इसी वजह से उनके आभार प्रकट करने पर इन दलों ने उन्हें निशाना बनाया।
मायावती ने रैली में सरकारी बसों के प्रयोग के आरोपों को भी खारिज किया। उन्होंने स्पष्ट किया कि रैली में शामिल बसपा समर्थक अपनी जेब खर्च करके दूर-दूर से आए थे और किसी सरकारी संसाधन का इस्तेमाल नहीं हुआ। उन्होंने कार्यकर्ताओं को आगाह किया कि इस तरह की आधारहीन बातों पर ध्यान न दें।
सुप्रीमो ने कहा कि सपा की पिछली सरकार ने बीएसी के तहत बनाए गए स्मारकों और पार्कों की उपेक्षा की थी, जबकि योगी सरकार ने टिकटों से आए धन का इस्तेमाल करते हुए उनकी देखभाल की। इसी के लिए रैली में उन्होंने सरकार का आभार जताया, जिस पर सपा-कांग्रेस ने बसपा पर भाजपा से मिलीभगत का आरोप लगाया।
मायावती ने कहा, “रैली में मेरी भूमिका और बयान को लेकर जो आरोप लगाए जा रहे हैं, वे पूरी तरह असत्य हैं। हमारे कार्यकर्ता प्राइवेट बसों और ट्रेनों से आए थे। किसी सरकारी साधन का उपयोग नहीं हुआ। सपा-कांग्रेस द्वारा लगाए जा रहे आरोप राजनीतिक विद्वेष से प्रेरित हैं।”