वृंदावन के संत समाज में उस समय गहरा आक्रोश फैल गया जब सतना जिले के एक युवक ने संत प्रेमानंद महाराज के खिलाफ फेसबुक पर आपत्तिजनक टिप्पणी की। युवक ने कथित तौर पर धमकी भरे अंदाज़ में लिखा कि यदि संत ने उसके परिवार के बारे में कुछ कहा होता तो वह उनकी गर्दन उतार लाता। इस टिप्पणी के बाद वृंदावन के संतों ने तीव्र विरोध जताते हुए इसे संत समाज का अपमान बताया है।

संतों ने एकजुट होकर स्पष्ट किया कि संत प्रेमानंद ब्रज की प्रतिष्ठा और मर्यादा के प्रतीक हैं और यदि किसी ने उन्हें नुकसान पहुंचाने की कोशिश की तो संत समाज चुप नहीं बैठेगा। कई संतों ने तो यहां तक कहा कि वे महाराज के लिए पहली गोली खाने को भी तैयार हैं।

गौरतलब है कि हाल ही में संत प्रेमानंद ने एक बयान दिया था जिसमें उन्होंने युवक-युवतियों के आचरण पर सवाल उठाए थे। उन्होंने कहा था कि सौ में से दो-चार ही लड़कियां पवित्र होती हैं। यह बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था, जिसके बाद कई लोगों ने अपनी असहमति व्यक्त की थी।

संत समाज की प्रतिक्रिया

श्रीकृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास के अध्यक्ष दिनेश फलाहारी ने कहा कि संत प्रेमानंद ब्रज की शान हैं और उनके खिलाफ इस तरह की भाषा असहनीय है। रसिक संत मोहिनी बिहारी शरण ने भी सोशल मीडिया पर संतों के प्रति अपमानजनक भाषा के इस्तेमाल को निंदनीय बताया।

जमीन कारोबारी राजेंद्र चौहान ने भी युवक की टिप्पणी को अनुचित बताया और कहा कि असहमति के बावजूद किसी को भी धमकी देने का अधिकार नहीं है। उन्होंने मांग की कि ऐसे बयान देने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई होनी चाहिए।