उत्तरप्रदेश: पंचायत चुनाव, इस बार 880 जगह नहीं होगा ग्राम प्रधान का चुनाव, जानिए वजह

उत्तर प्रदेश में होने वाले पंचायत चुनावों को लेकर तैयारी लगभग पूरी कर ली गई है. ऐसे में यूपी के 75 जिलों में परिसीमन के बाद साल 2015 की तुलना में पांच सालों में पंचायतों का दायरा सिमट गया है. जिसके चलते जिला पंचायतों के 3120 वार्ड अब घटकर 3051 रह गए हैं. 880 ग्राम पंचायत शहरी क्षेत्र में मिल गयी हैं. वहीं मेरठ जिले में इस बार 80 प्रतिशत ग्राम प्रधान, बीडीसी और जिला पंचायत सदस्य चुनाव में शामिल नहीं हो पाएंगे. बताया जा रहा है कि यहां 80 प्रतिशत सदस्यों ने चुनाव खर्च नहीं जमा किया जिसके चलते ये सभी चुनावी जंग से बाहर हो गए हैं.

वहीं दूसरी तरफ यूपी में इस बार 59,074 की जगह 58,194 ग्राम पंचायतों में प्रधानी के वोट पड़ेगा. वहीं ग्राम पंचायतों में वार्डों की संख्या कम हो गयी है. जिसमें 12,745 वार्ड कम हो गए हैं. ऐसे में 826 ब्लॉक प्रमुखों का चुनाव करने के लिए यूपी में 75 हजार 805 क्षेत्र पंचायत सदस्य चुने जाएंगे. इस संख्या पर नजर करें तो साल 2015 से अब ये 1,996 कम होंगे.

इस मामले में पंचायती राज निदेशक किंजल ने बताया कि परिसीमन के बाद सा 2015 से अब तुलना करें तो ग्राम पंचायत वार्ड 7,44,558 से घटकर 7,31,813 रह गए हैं. वहीं उन्होंने बताया कि क्षेत्र पंचायत सदस्य भी 77,801 से कम होकर 75,805 ही रहेंगे.

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