मुजफ्फरनगर। जिला अस्पताल में गुरुवार को आउटसोर्स सफाई कर्मचारियों के वेतन नहीं मिलने के कारण हड़ताल हो गई। इसके चलते सुबह से दोपहर तक अस्पताल के भर्ती वार्ड, ओपीडी, ओटी और पूरे परिसर में कूड़ा फैला रहा। बिगड़ी व्यवस्था को देखते हुए सीएमएस डॉ. संजय कुमार वर्मा ने नियमित सफाई कर्मचारियों को अस्थायी तौर पर वार्ड ब्वाय के पद से लगाकर सफाई करवाई, जिससे गंदगी पर काबू पाया जा सका।

हड़ताल के कारण मरीजों को गंदगी के बीच समय बिताना पड़ा। ओपीडी और ऑपरेशन थिएटर में ऑपरेशन करीब दो घंटे तक देरी से शुरू हो पाए। जिला अस्पताल में ओटी और सभी वार्डों की सफाई आउटसोर्स कर्मचारियों के जिम्मे है, जिन्हें कई बार समय पर वेतन नहीं दिया गया है।

पिछले कुछ महीनों में भी कई बार वेतन न मिलने पर यह कर्मचारी हड़ताल कर चुके हैं। गुरुवार को बिना किसी सूचना के कर्मचारियों ने सफाई कार्य रोक दिया, जिससे अधिकारियों और स्टाफ को सुबह 9 बजे तक कूड़ेदान बिखरे हुए और गंदगी फैली मिली। 100 से अधिक बेड वाले अस्पताल में कूड़ा न उठने से दुर्गंध फैल गई।

सीएमएस डॉ. संजय कुमार वर्मा ने तत्काल कार्रवाई करते हुए नियमित सफाई कर्मचारियों की सूची तैयार कर उन्हें काम पर लगाया। धीरे-धीरे अस्पताल की सफाई व्यवस्था बहाल हुई। इसके बाद ओपीडी दो घंटे की देरी के साथ शुरू हुई और ऑपरेशन थिएटर में भी सफाई के कारण 12 बजे के बाद ही ऑपरेशन शुरू हो पाए।

हड़ताल के कारण कई मरीज बिना इलाज के वापस लौट गए। ओपीडी में चिकित्सक न होने और अस्पताल में फैली गंदगी देखकर 100 से अधिक लोग पर्ची बनवाकर अगले दिन आने का निर्णय लिया। वहीं, भर्ती मरीजों ने भी गंदगी से भरे वार्ड में समय बिताने की मजबूरी जताई।

डॉ. संजय कुमार वर्मा ने बताया कि आउटसोर्स कर्मचारियों की हड़ताल का कारण वेतन न मिलना था, लेकिन नियमित कर्मचारियों की मदद से सफाई करवाई गई और बाद में आउटसोर्स कर्मचारियों की समस्या का भी समाधान किया गया।