इंदौर गौरव दिवस के कार्यक्रम में शामिल होने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान मंगलवार शाम को इंदौर पहुंचे। सबसे पहले वे एरोड्रम रोड स्थित नृसिंह वाटिका गए। यहां कोरोना में माता-पिता को खो चुके बच्चों से संवाद किया। सीएम ने बच्चों से कहा कि कभी खुद को अकेला मत समझना। तुम्हारा मामा हमेशा तुम्हारे साथ है।
नृसिंह वाटिका में हुए कार्यक्रम में जिले के वे 525 बच्चे उपस्थित रहेंगे जिनके माता या पिता में से किसी एक की कोरोना से मौत हो चुकी है। इन बच्चों की जिम्मेदारी अलग-अलग समाज व संगठनों ने ली है। मुख्यमंत्री ने बच्चों के साथ अभिभावकों से भी बात की। बच्चों से संवाद के दौरान सीएम शिवराज ने कहा कि आप लोग प्रदेश और देश का भविष्य हो। कभी खुद को अकेला मत समझना। जितना पढ़ना चाहो, पढ़ो, मामा तुम्हारे साथ है। खूब मन लगाकर पढ़ो। मामा तुम्हारी सारी जरुरतें पूरी करेगा। इस मौके पर बच्चों ने अपनी बात सीएम के सामने रखी। कहा कि प्रशासन की तरफ से पूरा सहयोग मिल रहा है। सीएम ने कहा कि बच्चों को प्रदेश सरकार से मिलने वाली सहायता राशि और पीएम केयर फंड से मिलने वाली 2 और पांच हजार रुपए की मदद की राशि लगातार मिलती रहेगी।

सबसे कम उम्र में 12वीं पास करने वाली तनिष्का ने अपने अनुभव बताए। सांसद शंकर लालवानी ने तनिष्का के बारे में सीएम को बताया कि किस तरह 12 साल की उम्र में तनिष्का ने कॉलेज में एडमिशन ले लिया था। वह जज बनना चाहती है। तनिष्का ने कहा कि वह पिछले दस साल से शिवराज मामा से मिलना चाह रही थी। आज यह इच्छा पूरी हुई है। इसके बाद तनिष्का को मंच पर बुलाकर सीएम ने उसे दुलार कर आशीर्वाद दिया। उज्जवल भविष्य के लिए शुभकामनाएं दी। तनिष्का के पिता का कोरोना में निधन हो चुका है। वह मां के साथ रहती है। शिखा ठाकुर ने अपनी बात रखते हुए कहा कि शिवराज सर आपने कलेक्टर सर को जो कहा था उस आदेश के अनुसार वे हमारी पूरी तरह मदद कर रहे हैं। खुशी कुशवाह ने कहा कि मैंने कोरोना में माता-पिता को खो दिया। समझ नहीं आ रहा था कि अब क्या होगा लेकिन आपने जो पहल शुरू की है उसने बहुत मदद की। आपकी छोटी सी कोशिश से जीवन बदल या। मैंने 12वीं 85 प्रतिशत अंकों के साथ पास की है। जेईई की तैयारी कर रही हूं। बहुत खुशी है कि आज भी आप जैसे लोग हैं जो हम जैसों के लिए सोचते हैं।