मणिपुर: सांप्रदायिक मतभेदों के कारण हुई हिंसा, किरेन रिजिजू बोले- शांति प्रस्ताव दिया गया

मणिपुर में एक महीने पहले भड़की जातीय हिंसा में कम से कम 98 लोगों की जान जा चुकी है और 310 से अधिक लोग घायल हुए हैं। राज्य में फिलहाल कुल 37,450 लोगों ने 272 राहत शिविरों में शरण ले रखी है। मणिपुर हिंसा पर केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि यह एक दुर्भाग्यपूर्ण घटना है, सांप्रदायिक मतभेदों के कारण हिंसा हुई। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह खुद 4 दिनों तक यहां रहे और एसओयू समूहों से यथास्थिति बनाए रखने की अपील की और कई ने आत्मसमर्पण भी किया।

रिजिजू ने कहा कि यह एक सतत समस्या है और गृह मंत्री ने स्वयं इसका जमीनी मूल्यांकन किया और उन्होंने पहले शांति स्थापित करने के लिए शांति प्रस्ताव दिया, फिर जो भी मांग होगी, जो आवश्यक कार्रवाई की जाएगी। मणिपुर के काकचिंग जिले में सेरौ इलाके में मंगलवार सुबह विद्रोहियों के साथ गोलीबारी में सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) का एक जवान मारा गया और असम राइफल्स के दो जवान गोली लगने से घायल हो गए थे। 

बता दें कि मणिपुर के कुकी समुदाय के सदस्यों ने पूर्वोत्तर के राज्य में जारी हिंसा के विरोध में बुधवार को यहां केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के आवास के बाहर प्रदर्शन किया। पुलिस ने यह जानकारी दी। पुलिस ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने हाथों में तख्तियां थामे रखी थीं, जिन पर लिखा था कि कुकी समुदाय के लोगों के जीवन की रक्षा करें। प्रदर्शनकारियों ने नारे भी लगाए। पुलिस के मुताबिक, गृह मंत्री के साथ बैठक के लिए चार प्रदर्शनकारियों को उनके आवास के अंदर जाने की अनुमति दी गई, जबकि बाकी को जंतर मंतर भेज दिया गया। 

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