दिल्ली में डीएल संबंधी नई सुविधाए

दिल्ली सरकार ने डीएल, वाहनों के फिटनेस प्रमाण पत्र को लेकर फिर राहत दी है। अगर किसी के ड्राइविंग लाइसेंस की वैधता खत्म हो गई है। वाहन का फिटनेस खत्म हो गया है तो उसपर कोई कार्रवाई नहीं होगी। उसे 30 नवंबर 2021 तक के लिए वैध माना जाएगा। उस दौरान वह अपने दोबारा वह बनवा सकता है। परिवहन विभाग ने इस संबंध में आदेश भी जारी कर दिया है। अभी तक यह 30 सितंबर 2021 तक के लिए था। कोरोना काल में कई दस्तावेजों की वैधता खत्म होने के चलते उन्हें रीन्यू कराने के लिए भारी भीड़ सरकारी दफ्तरों में उमड़ रही थी। इसको देखते हुए सरकार ने इन दस्तावेजों की वैधता तो दो महीनों के लिए बढ़ा दिया।

वाहनों से जुड़े दस्तावेजों की वैधता को सरकार ने कई बार बढ़ाया है। इसकी शुरुआत 30 मार्च 2020 से हुई थी, उसके बाद इसे 9 जून 2020, 24 अगस्त 2020, 27 दिसंबर 2020, 26 मार्च 2021, 17 जून 2021 और फिर 30 सितंबर 2021 किया गया। अब 8वीं बार इसे बढ़ाकर 30 नवंबर 2021 किया गया है।

हालांकि, सरकार की तरफ से जारी किए गए नोटिफिकेशन में ये बात साफ की गई है कि सड़क पर चलने वाली गाड़ियों के पास इंश्योरेंस और प्रदूषण सर्टिफिकेट होना जरूरी है। ऐसा इसलिए क्योंकि  इंश्योरेंस तो घर बैठे ऑनलाइन ही रीन्यू हो सकता है और प्रदूषण सर्टिफिकेट कहीं से भी बनवाए जा सकते हैं, इनके बहुत सारे आउटलेट है।

लोन वाले वाहनों के आरसी से एक नवंबर से स्वत: हट जाएगा एचपी

लोन लेकर वाहन खरीदने वालों को अब बैंक लोन खत्म होने के बाद अपने वाहन के आरसी (पंजीकरण प्रमाणपत्र) से हाइपोथिकेशन (एचपी) हटाने के लिए आरटीओ या बैंक का चक्कर नहीं लगाना पड़ेगा। दिल्ली सरकार सभी बैंक के साथ इंटीग्रेशन कर रही है, जिससे लोन पूरा होने के बाद ह वाहन के आरसी से हाइपोथिकेशन परिवहन विभाग के रिकॉर्ड से स्वत: हट जाएगा। फेसलेस योजना को लेकर परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने बुधवार को हुए समीक्षा बैठक में बैंक के साथ इंटीग्रेशन का काम एक नवंबर तक पूरा करने का निर्देश दिया है।

परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने कहा कि हमने चरणबद्ध तरीके से परिवहन विभाग की 33 सेवाओं पर फेसलेस योजना लागू किया है। इसमें अभी तक जो रिस्पांस मिला है वह बेहतर है। उन्होंने कहा कि परिवहन विभाग से रोजाना वाहन, ड्राइविंग लाइसेंस (डीएल) संबंधित कामों को लेकर 33 लाख से अधिक आवेदन आते है। अब उसमें बहुत सारे काम बिना ऑफिस जाएं, लंबी कतार में लगे घर बैठे हो जाते है। उन्होंने कहा कि अगस्त में फेसलेस के तहत शुरू हुए लर्निंग लाइसेंस की प्रक्रिया के बाद 57 हजार से अधिक आवेदन आएं है। इसमें 76 फीसदी से अधिक को मंजूर हो गए है।

परिवहन अधिकारियों के मुताबिक परिवहन विभाग को हर साल मिलने वाले 33 लाख आवेदनों में से 19 लाख आवेदन सिर्फ आरसी से जु़ड़े होते है। उसमें सबसे ज्यादा वाहन के बैंक लोन खत्म होने के बाद आरसी पर चढ़े हाइपोथिकेशन नंबर को लेकर रहता है। इसके लिए वाहन मालिक बैंक से फॉर्म 35 व एनओसी लेकर परिवहन विभाग के चक्कर लगाता है। यह संख्या लाखों में है। इसलिए परिवहन विभाग ने अब बैंक के साथ इंटीग्रेशन कर रही है आईसीआईसीआई बैंक के साथ पहले ही ट्रायल हो चुका है। बाकी बैकों को एक नवंबर से जोड़ लिया जाएगा।

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