जम्मू कश्मीर में लगातार तीसरे दिन जोरदार बारिश हो रही है। इसी बीच दो सैनिक पुंछ इलाके में पेट्रोलिंग करने के दौरान उफनती नदी पार कर रहे थे। नदी पार करने के दौरान दोनों पानी के तेज बहाव की चपेट में आ गए और पानी में बह गए है। बहने वाले सैनिकों में से एक की पहचान नायब सूबेदार कुलदीप सिंह के रूप में हुई है जबकि दूसरे की जानकारी नहीं मिल सकी है। अधिकारियों से ये जानकारी मिली है।
वहीं इस घटना के बाद भारतीय सेना के 16 कॉर्प्स ने जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की है। 16 कॉर्प्स ने बह गए जवानों के लिए ट्विट करते हुए लिखा कि व्हाइट नाइट कॉर्प्स के कमांडर और सभी रैंक के अधिकारी नायब सूबेदार कुलदीप सिंह के सर्वोच्च बलिदान को सलाम करते है। जानकारी के मुताबिक पुंछ के सुरानकोटे के पोशाना में सैनिक नाला पार कर रहे थे और तभी अचानक तेज बहाव की चपेट में आ गए और ये हादसा हो गया। जानकारी के मुताबिक सेना, स्थानीय पुलिस के साथ मिलकर रेस्क्यू ऑपरेशन चल रहा है। पुलिस ने नागरिकों को भी सलाह दी है कि भारी बारिश के कारण नदी और नालों से दूर रहें।
रेड अलर्ट भी हुआ जारी
जम्मू-कश्मीर में रविवार को लगातार तीसरे दिन मूसलाधार बारिश के कारण कठुआ और सांबा जिलों के साथ ही निचले जलग्रहण क्षेत्रों के लिए ‘रेड अलर्ट’ जारी किया गया। मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने रविवार सुबह विभिन्न इलाकों से नदियों और झरनों में जलस्तर के खतरे के निशान को पार कर जाने की खबरें आने के बाद यह अलर्ट जारी किया। विभाग के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘‘जम्मू-कश्मीर के कठुआ, सांबा और निचले जलग्रहण क्षेत्रों के लिए रेड अलर्ट जारी किया गया है, क्योंकि बाढ़ या अचानक बाढ़ आने का खतरा बढ़ गया है। सभी संबंधित लोगों को अगले 24 घंटे के दौरान सतर्क रहने की सलाह दी गई है।’’
रेड अलर्ट का मतलब 24 घंटे में 20 सेंटीमीटर से अधिक भारी से बहुत भारी बारिश, जबकि ओरेंज अलर्ट का मतलब छह से 20 सेंटीमीटर की भारी बारिश से होता है। उन्होंने बताया कि कठुआ, सांबा, रामबन, डोडा और उधमपुर जिलों के कुछ इलाकों में शनिवार को रातभर बारिश हुई। मौसम विभाग के प्रवक्ता ने कहा, ‘‘कठुआ, सांबा, रामबन, डोडा और उधमपुर जिलों के कुछ स्थानों पर अगले 12 घंटे के दौरान और बारिश होने का अनुमान है। 10 जुलाई के बाद से स्थिति में सुधार होने की उम्मीद है।’’ पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि कई स्थानों पर चेनाब, रावी, तावी और नीरू समेत लगभग सभी नदियां उफान पर हैं तथा उनमें पानी का स्तर खतरे के निशान को पार कर गया है। उन्होंने कहा कि बाढ़ से अभी कहीं पर भी कोई नुकसान होने की खबर नहीं है।