केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने उच्च स्तरीय बैठक में जम्मू-कश्मीर की सुरक्षा स्थिति को लेकर अधिकारियों और सुरक्षा एजेंसियों के साथ मंथन किया। जम्मू में शुक्रवार को हुई बैठक में सभी एजेंसियों के अधिकारी मौजूद रहे। सूत्रों के मुताबिक उन्होंने टारगेट किलिंग और आतंकी घटनाओं पर लगाम लगाने के निर्देश दिए।
अल्पसंख्यकों पर हो रही हमलों को रोकने के लिए ठोस उपाय करने को भी कहा। सुरक्षा बैठक के दौरान सीमा पार से आतंकी साजिशों को नाकाम बनाने संबंधी मुद्दों पर चर्चा की गई। गृहमंत्री ने कहा कि राजोरी के ढांगरी में दोहरे आतंकी हमले की जांच एनआईए को सौंपी गई है।
एनआईए और जम्मू कश्मीर पुलिस इस मामले की तह तक जाएगी। इससे पहले शाह ने राजोरी आतंकी हमले के पीड़ितों से फोन पर बातचीत कर घटना की जानकारी ली। आतंकी हमले में दोनों बेटों को गंवाने वाले सरोज बाला ने बताया कि केंद्रीय गृह मंत्री ने बात कर अगली बार मिलने का आश्वासन दिया है।
उनसे आग्रह किया कि वह हमें न्याय दें और आतंकियों को कड़ा जवाब दें। शाह मौसम खराब होने के कारण राजोरी के ढांगरी गांव नहीं पहुंच पाए। एक जनवरी को हुए हमले में सात लोगों को जान गंवाना पड़ा था। शाह के पहुंचने से पहले जम्मू समेत अन्य जगहों पर सुरक्षा चाकचौबंद कर दी गई थी।
इसके साथ ही हाई अलर्ट जारी किया गया था। चप्पे-चप्पे पर सुरक्षाबलों को तैनात किया गया था। ढांगरी के आसपास के जंगलों को पुलिस व सेना की ओर से खंगाला गया। राजोरी से ढांगरी तक करीब 10 किलोमीटर सड़क पर भी पुलिस और सीआरपीएफ के जवान तैनात हैं।
राजोरी-जम्मू हाईवे और राजोरी-कालाकोट हाईवे पर भी जगह-जगह विशेष नाके लगा कर तलाशी ली जा रही है। जिले के नियंत्रण रेखा से जुड़ने वाले इलाकों और राजोरी-कश्मीर को जोड़ने वाले मुगल रोड पर सुरक्षा कड़ी कर दी गई है।