छत्‍तीसगढ़ के रायपुर में आयोजित धर्म संसद में राष्ट्रपिता महात्‍मा गांधी को अपशब्‍द कहने वाले कालीचरण महाराज को मध्य प्रदेश के खुजराहो से गिरफ्तार कर लिया गया है। बता दें कि उनकी तलाश कई दिनों से जारी थी। उनके खिलाफ छत्तीसगढ़ से लेकर महाराष्ट्र तक मामले दर्ज हो चुके हैं। महाराष्ट्र पुलिस काफी दिनों से कालीचरण महराज की खोज कर रही थी।

महाराष्ट्र सरकार के मंत्री और NCP नेता जितेंद्र आहवाड़ ने उनके खिलाफ ठाणे पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। बता दें कि रायपुर में 25 और 26 दिसंबर को धर्मसंसद आयोजित की गई थी। इसको लेकर आरोप लगा था कि इसमें कालीचरण महाराज ने महात्‍मा गांधी के हत्‍यारे नाथूराम गोडसे की तारीफ की थी और महात्‍मा गांधी पर अभद्र टिप्‍पणी की थी।

‘मुझे कोई अफसोस नहीं’: बता दें कि केस दर्ज होने के बाद कालीचरण महाराज ने कहा था कि उन्हें अपने बयान पर कोई अफसोस नहीं है। आठ मिनट का एक वीडियो जारी करते हुए उन्होंने कहा था, “महात्‍मा गांधी को गाली देने का मुझे कोई अफसोस नहीं है। मुझे फांसी भी दे दोगे तब भी मैं अपने सुर बदलने वाला नहीं हूं। ऐसी एफआईआर से मुझ पर कोई असर पड़ने वाला नहीं है। मैं गांधी विरोध हूं और इसके लिए फांसी भी दोगे तो भी मुझे स्‍वीकार है।”

अपने बयान में क्या कहा था: धर्म संसद में विवादित बयान का वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। कालीचरण महाराज ने सभा में कहा था, ‘इस्लाम का लक्ष्य राजनीति के माध्यम से राष्ट्र पर कब्जा करना है। हमारी आंखों के सामने उन्होंने 1947 में कब्जा कर लिया। उन्‍होंने (मुसलमानों ने ) पहले ईरान, इराक और अफगानिस्‍तान पर कब्‍जा किया और बाद में राजनीति के माध्‍यम से पाकिस्‍तान और बांग्‍लादेश पर। मैं नाथूराम गोडसे को सलाम करता हूं कि उन्‍होंने मोहनदास करमचंद गांधी की हत्‍या की।’

राष्ट्रपिता पर सवाल खड़े करते हुए कालीचरण महाराज ने कहा था कि राष्ट्रपिता अगर बनाना है तो छत्रपति शिवाजी, राणा प्रताप और सरदार पटेल जैसे लोगों को बनाना चाहिए, जिन्होंने राष्ट्रकुल को एकत्र करने का काम किया। उन्‍होंने देश का बंटवारा करने के लिए महात्‍मा गांधी को जिम्मेदार बताते हुए कहा कि गांधी ने भगत सिंह, राजगुरु की फांसी रुकवाने के लिए कुछ नहीं किया।