केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने यूपी में 2017 से पहले की सरकारों में भ्रष्टाचार, जातिवाद और तुष्टीकरण की राजनीति को प्रश्रय देने का आरोप लगाते हुए कहा कि इस राज्य को जानबूझ कर पिछड़ा बनाए रखने के लिए विकास के नाम पर लोगों को गुमराह किया गया। शाह ने शनिवार को यहां विशिष्ट जन सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि तुष्टीकरण की राजनीति के कारण ही यूपी बीमार राज्य बनकर रह गया था। उन्होंने कहा कि बीते पांच सालों में यूपी में केन्द्र की मोदी सरकार और राज्य की योगी सरकार ने डबल इंजन की सरकार बनकर विकास और जनकल्याण को एक साथ आगे बढ़ाकर स्थिति को बदला है।
शाह ने कहा कि प्रदेश को बीमारू राज्य के दुश्चक्र से बाहर निकालने में कानून व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए योगी सरकार द्वारा किए गए उपायों की सफलता ने अहम भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा कि डबल इंजन की सरकार ने ही प्रदेश में कानून व्यवस्था कायम की है। अमित शाह ने कहा, आज पांच साल बाद मेरे पास यूपी में भाजपा सरकार का रिपोर्ट कार्ड है। मैं मायावती और अखिलेश को मेरे साथ आंकड़ों पर चर्चा करने की चुनौती देता हूं। उन्होंने कहा 2016 की तुलना में आज डकैती में 70 फीसदी, लूट में 69 फीसदी, हत्या में 32 फीसदी, दंगों में 86 फीसदी, दहेज हत्या में 22 फीसदी और रेप के मामलों में 52 फीसदी की कमी आई है।
मोदी और योगी सरकार के साझा प्रयासों से यूपी में मिली इन उपलब्धियों का जिक्र करते हुए गृह मंत्री ने कहा कि प्रदेश में 02 हजार करोड़ रुपये से अधिक कीमत की संपत्ति को मफियाओं से डबल इंजन की सरकार ने खाली करवाया। इससे आम जनमानस में कानून के प्रति आस्था बढ़ी और अपराधियों के मन में कानून का भय पनपा। शाह ने इन उपलब्धियों के आधार पर कहा, विकास और जनकल्याण का यह सिलसिला जारी रखने के लिए अब चुनाव में आपके वोट पर हमारा अधिकार है। इससे पहले शाह ने कैराना में घर घर जाकर मतदाताओं के साथ जनसंपर्क किया और शामली में पार्टी पदाधिकारियों की बैठक में चुनाव की सफलता के सूत्र बताए।