कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोमवार को पटना में प्रेस वार्ता कर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और एनडीए सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार युवाओं और रोजगार के मुद्दे पर पूरी तरह असफल रही है।
खरगे ने कहा, “प्रधानमंत्री युवाओं के भविष्य को लेकर गंभीर नहीं हैं। कभी कहते हैं ‘पकौड़ा तलो’, अब कहते हैं ‘रील बनाओ’। देश के प्रधानमंत्री का दायित्व है कि वे ठोस नीति बनाएं और बताएं कि वे युवाओं के लिए आगे क्या कदम उठाने जा रहे हैं।”
नीतीश पर मोदी की ‘रणनीति’ का जिक्र
खरगे ने एनडीए में मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री का पटना में रोड शो हुआ, पर मैंने शहर में कहीं नीतीश कुमार का कटआउट नहीं देखा। न वे रोड शो में दिखे, न ही मोदी ने उन्हें मुख्यमंत्री उम्मीदवार बताया। ये सब नीतीश कुमार को किनारे करने की चाल है।”
‘20 साल की सरकार, फिर भी वही बातें’
कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि बिहार में 20 साल से एनडीए की सरकार है, फिर भी वे ‘जंगलराज’ का हवाला देते हैं। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री बिहार आकर महापुरुषों पर टिप्पणी करते हैं, लेकिन किसानों की एमएसपी, महंगाई और बेरोजगारी जैसे असली मुद्दों पर बात नहीं करते। प्रधानमंत्री का काम सिर्फ विपक्ष को कोसना नहीं, बल्कि देश को दिशा देना है।”
शिक्षा और रोजगार पर तीखा वार
खरगे ने कहा कि एनडीए शासन में बिहार की शिक्षा व्यवस्था चरमराई है। “राज्य में स्कूलों की स्थिति खराब है, शिक्षक नहीं हैं, और देशभर में 50 लाख सरकारी पद खाली पड़े हैं। केंद्र सरकार को भर्ती प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए, लेकिन इसके बजाय वे एक करोड़ नौकरियां देने के वादे कर रहे हैं,” उन्होंने कहा।
खरगे ने दावा किया कि बिहार की जनता राजनीतिक रूप से जागरूक है और “इस बार झूठे वादों करने वालों को सबक सिखाएगी।”
‘प्रधानमंत्री की भाषा पर सवाल’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा महागठबंधन के मुख्यमंत्री चेहरे पर दिए गए बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए खरगे ने कहा, “ऐसी भाषा किसी प्रधानमंत्री को शोभा नहीं देती। चाहे नेहरू हों, इंदिरा गांधी या लाल बहादुर शास्त्री—किसी ने इस तरह की बातें नहीं कीं। लेकिन मोदी जी हमेशा राजनीतिक संवाद को गिराने का काम करते हैं।”