बांका। नौकरी और सरकारी टेंडर दिलाने के नाम पर लाखों की ठगी करने वाले गिरोह के सरगना ललित किशोर कुमार उर्फ गौरव कुमार को यूपी के गोरखपुर पुलिस ने गिरफ्तार किया है। गौरव कुमार पर बांका थाने में ठगी के दो मामले दर्ज हैं। आरोप है कि उसने चालीस से पचास लाख रुपये अलग-अलग लोगों से ठगी के तौर पर वसूल किए।

बताया गया कि कुछ दुकानदारों ने नकदी और अन्य सामान लेकर रातों रात फरार होने का आरोप लगाया था। गोरखपुर पुलिस की गिरफ्त में आने के बाद बांका पुलिस उसे पूछताछ के लिए रिमांड पर ले सकती है। गौरव कुमार सीतामढ़ी का निवासी है और बांका से फरार होने के बाद खुद को फर्जी आईएएस अधिकारी बताकर गोरखपुर में ठगी करता था। उसके दो अन्य साथियों को भी गिरफ्तार कर जेल भेजा गया है।

पुलिस के अनुसार, यह गिरोह पिछले छह महीने से युवाओं को नौकरी और सरकारी विभागों में टेंडर दिलाने का झांसा देकर लाखों रुपये वसूल रहा था। ललित खुद को आईएएस (2022 बैच) बताकर प्रभावित करता और टेंडर के नाम पर 10 प्रतिशत कमीशन मांगता था। काम पूरा न होने पर रकम वापस करने का भरोसा दिलाकर वह लोगों को अपने जाल में फंसा लेता और बाद में ठिकाना बदल देता।

गोरखपुर एसएसपी डॉ. गौरव ग्रोवर के नेतृत्व में धनघटा बाजार (संत कबीरनगर) से गिरोह के सदस्यों को गिरफ्तार किया गया। इनके कब्जे से 4.15 लाख रुपये नकद, 30 ग्राम सोना, 50 ग्राम चांदी और एक बोलेरो वाहन बरामद हुआ। जांच में यह पता चला कि ललित के खिलाफ 30 से अधिक मामले दर्ज हैं।

जानकारी के अनुसार, गिरोह ने कनाडा के नागरिक परिसर उपाध्याय से 25 लाख रुपये, गोरखपुर के कई लोगों से लाखों रुपये और मुजफ्फरपुर (बिहार) से 10 लाख रुपये लेकर फरार हुआ था। फर्जी साक्षात्कार, नकली दस्तावेज और नकली मुद्रा का इस्तेमाल कर यह गिरोह लोगों को नौकरी और टेंडर दिलाने का भरोसा देता था।

पूछताछ में यह भी खुलासा हुआ कि गिरोह यूपी, बिहार, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में सक्रिय था। इसके निशाने पर वे लोग थे जो नौकरी या सरकारी टेंडर की तलाश में थे। पुलिस जांच में पता चला कि गिरोह ने चार लड़कियों को गर्लफ्रेंड बनाया था, जिनमें तीन गर्भवती हैं।