सपा अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि उत्तर प्रदेश भाजपा में जारी विवाद का असली कारण एसआईआर प्रक्रिया में 2.89 करोड़ मतदाताओं के नाम कट जाना है। उन्होंने दावा किया कि मुख्यमंत्री ने स्वयं स्वीकार किया है कि करीब 85-90 प्रतिशत कटे हुए मत उनके अपने समर्थक हैं। इसका मतलब यह हुआ कि हर विधानसभा क्षेत्र में भाजपा को लगभग 61 हजार वोटों की कमी झेलनी पड़ी।

अखिलेश के अनुसार, यही कारण है कि भाजपा के भीतर आपसी घमासान बढ़ गया है और विधायक अलग-अलग बैठकों में अपनी नाराजगी जाहिर कर रहे हैं। वे संगठन और सरकार को अपने मुद्दों पर सुनने को तैयार नहीं पा रहे हैं, जिससे आरोप-प्रत्यारोप और खुली नाराजगी सामने आ रही है।

सपा ने महाराजा खेत सिंह खंगार की जयंती मनाई
सपा प्रदेश मुख्यालय में शनिवार को वीर शिरोमणि महाराजा खेत सिंह खंगार की जयंती मनाई गई। पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेंद्र चौधरी ने उन्हें महान योद्धा और कुशल प्रशासक बताया। उन्होंने पृथ्वीराज चौहान के साथ कई युद्ध लड़े थे। इस अवसर पर समाजवादी नेताओं की अच्छी-खासी संख्या मौजूद रही।

ओबीसी आरक्षण में गड़बड़ी का आरोप
अखिलेश यादव ने यूपी सरकार पर ओबीसी आरक्षण में अनियमितता का आरोप भी लगाया। उन्होंने कहा कि पशु चिकित्सक, स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी, यूनानी चिकित्सा अधिकारी और आयुर्वेद चिकित्सा अधिकारी के 183 पद ओबीसी को कम कर दिए गए हैं। इसके अलावा, उन्होंने 69 हजार शिक्षक भर्ती मामले में सुप्रीम कोर्ट में सरकारी अधिवक्ता नहीं भेजने और सुनवाई जानबूझकर टालने का आरोप लगाया।

उन्होंने यह भी कहा कि जब समाजवादी पार्टी गांव-गांव जाकर पीडीए पंचायतों के माध्यम से इन मुद्दों को उठाती है, तो पुलिस उन्हें रोकती है, लेकिन भाजपा विधायकों को जाति के नाम पर बैठक करने की पूरी अनुमति मिलती है।