गढ़मुक्तेश्वर (हापुड़): कार्तिक पूर्णिमा मेले के दौरान शनिवार को तब तनाव की स्थिति बन गई जब यशवीर महाराज अपने समर्थकों के साथ मेला क्षेत्र में चेकिंग करने और दूसरे समुदाय के लोगों की दुकानों को हटवाने के उद्देश्य से पहुंचे। मौके पर मौजूद पुलिस ने उन्हें चौराहे पर ही रोक दिया, जिसके बाद महाराज अपने अनुयायियों के साथ वहीं धरने पर बैठ गए।
जानकारी के अनुसार, यशवीर महाराज ने पहले से ही मेला क्षेत्र में जाने की घोषणा की थी। जैसे ही वह समर्थकों के साथ निकले, पुलिस और प्रशासन सतर्क हो गया। उच्चाधिकारियों के निर्देश पर कोतवाली पुलिस ने उन्हें मेला क्षेत्र की ओर बढ़ने से रोक दिया। पुलिस की रोक के विरोध में महाराज और उनके समर्थकों ने चौराहे के पास ही धरना शुरू कर दिया।
धरने पर बैठे यशवीर महाराज ने कहा कि गंगा तट और धार्मिक मेलों में हिंदू आस्था से जुड़ी गतिविधियों में दूसरे समुदाय के लोगों का हस्तक्षेप अनुचित है। उन्होंने आरोप लगाया कि ऐसे मामलों में पहले भी कई बार धार्मिक भावनाएं आहत करने की घटनाएं सामने आई हैं। उनका कहना था कि वह और उनके अनुयायी तब तक धरना जारी रखेंगे, जब तक प्रशासन उन्हें मेला क्षेत्र में प्रवेश की अनुमति नहीं देता या मेला समाप्त नहीं होता।
पुलिस प्रशासन स्थिति पर नजर बनाए हुए है और अधिकारियों ने शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए अतिरिक्त बल तैनात किया है।