संसद के शीतकालीन सत्र में मंगलवार को चुनाव सुधार और राष्ट्रीय गीत वंदे मातरम को लेकर चर्चा हुई। इस दौरान कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर कटाक्ष किया। खरगे ने आरोप लगाया कि दोनों नेता नेहरू और अन्य कांग्रेस नेताओं का अपमान करने से पीछे नहीं हटते।

खरगे ने वंदे मातरम के 150 वर्ष पूरे होने के अवसर को ऐतिहासिक बताया और कहा कि उन्हें सदन में इस गीत पर अपने विचार रखने का सौभाग्य मिला। उन्होंने याद दिलाया कि उन्होंने 55 साल सांसद रहते हुए वंदे मातरम गाया है और अब इसे न गाने वाले भी इसके महत्व को समझ रहे हैं।

खरगे ने बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय और स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को नमन करते हुए कहा कि वंदे मातरम स्वतंत्रता आंदोलन का प्रमुख नारा बन गया। उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस ने इस गीत को अपने अधिवेशनों और कार्यक्रमों में शामिल कर इसे जन-जन तक पहुँचाया।

वहीं, उन्होंने यह भी बताया कि वंदे मातरम भारतीय सार्वजनिक जीवन में तब प्रवेश करता है, जब गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर ने 1986 के कोलकाता कांग्रेस अधिवेशन में इसे पहली बार प्रस्तुत किया। हालांकि, इसके ऐतिहासिक संदर्भ और महत्व पर गृह मंत्री ने अधिक प्रकाश नहीं डाला।

खरगे ने कहा कि वंदे मातरम केवल राष्ट्रीय उत्सव का प्रतीक नहीं, बल्कि स्वतंत्रता संग्राम का अभिन्न हिस्सा और कांग्रेस की पहल से जनता में अपनाया गया संदेश है।