पटना। आगामी विधानसभा चुनावों से पहले बिहार की सियासत में सरगर्मी बढ़ गई है। इसी क्रम में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने रविवार को अपने आवास पर प्रेस वार्ता करते हुए कई नई घोषणाएं कीं। हाल के दिनों में “माई-बहिन मान योजना”, “हर घर नौकरी” और संविदाकर्मियों को राज्यकर्मी का दर्जा जैसे वादों के बाद अब उन्होंने छोटे कामगारों और पंचायत प्रतिनिधियों के लिए राहत भरे कदमों का ऐलान किया।
तेजस्वी यादव ने कहा, “जनता ने एनडीए को 20 साल का मौका दिया है। अब हम बस 20 महीने का समय मांगते हैं। बिहार की जनता बदलाव चाहती है, और इस बार बदलाव निश्चित है।”
पंचायत प्रतिनिधियों का भत्ता और बीमा दोगुना
उन्होंने बताया कि महागठबंधन की सरकार बनते ही पंचायत और ग्राम कचहरी प्रतिनिधियों का मानदेय भत्ता दोगुना किया जाएगा। साथ ही, उन्हें पेंशन सुविधा देने की शुरुआत की जाएगी जैसा अन्य राज्यों में पहले से लागू है। पंचायत प्रतिनिधियों को 50 लाख रुपये का बीमा कवर देने की भी घोषणा की गई।
तेजस्वी ने कहा कि जन वितरण प्रणाली (PDS) के डीलरों का भत्ता और मार्जिन मनी दोनों बढ़ाए जाएंगे। वहीं, अनुकंपा नीति में 58 वर्ष की उम्र सीमा लागू की जाएगी ताकि कर्मियों को समय पर लाभ मिल सके।
कामगारों को पांच लाख की सहायता
तेजस्वी यादव ने आगे कहा कि राज्य में नाई, बढ़ई, कुम्हार, लोहार और अन्य पारंपरिक कामगार वर्गों को पांच लाख रुपये तक की एकमुश्त आर्थिक सहायता दी जाएगी ताकि वे अपना स्वरोजगार शुरू कर सकें।
बिहार अब बदलाव के लिए तैयार
उन्होंने दावा किया कि जनता अब मौजूदा सरकार से उब चुकी है। “जहां भी जा रहे हैं, हर वर्ग और समुदाय के लोग खुलकर समर्थन दे रहे हैं। बिहार के लोग समझ चुके हैं कि 20 साल पुरानी यह सरकार अब विकास नहीं, बहाने बना रही है,” तेजस्वी ने कहा।
बीजेपी पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि “गृह मंत्री अमित शाह खुद मान चुके हैं कि बिहार में उद्योग लगाना मुश्किल है। गुजरात में फैक्ट्रियां लगाईं, लेकिन बिहार को सिर्फ वादे मिले। अब जनता इन झूठे आश्वासनों से थक चुकी है और नई दिशा चाहती है।”