तीन साल से पाकिस्तान की जेल में बंद जसईपुर गांव के मछुवारे जितेंद्र वर्मा (22) ने अपनी मां को व्हाट्सएप के जरिए चेतावनी भरा संदेश भेजा है। संदेश में उसने लिखा कि अगर उसकी रिहाई नहीं हुई तो वह खुदकुशी कर लेगा। उसने बताया कि केवल दवा लेकर ही जिंदा है। बेटे की इस चेतावनी से मां रानी की हालत गंभीर हो गई और वह घबराहट में खाट पकड़ बैठी।

जितेंद्र वर्मा जुलाई 2022 में पोरबंदर से मछली पकड़ने गया था, लेकिन जहाज पाकिस्तानी सीमा में पहुँच गया। वहां पाकिस्तानी सेना ने उसे गिरफ्तार कर कराची की जेल में बंद कर दिया। मां रानी ने बताया कि 21 नवंबर को बेटे का यह संदेश उनके मोबाइल नंबर पर आया। पिता संजय वर्मा और क्षेत्र पंचायत सदस्य रज्जन सिंह ने कहा कि परिवार बेहद गरीब है और जितेंद्र ने पहले भी फोन पर बताया था कि जेल में अधिकारियों की मारपीट और भोजन की अनियमितता झेलनी पड़ती थी। परिवार ने केंद्र और राज्य सरकार से बेटे की रिहाई के लिए मदद मांगी है।

पाकिस्तान में पांच साल से बंद मछुवारों की रिहाई की उम्मीद
वहीं, विकासखंड के धौसड़ गांव के दो मछुवारों—चांद बाबू (26) और लक्ष्मण—को पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट ने बरी किया है। परिजनों का कहना है कि पाकिस्तानी अधिकारी उनकी रिहाई के लिए तैयार हैं, लेकिन भारत सरकार की ओर से कोई जवाब नहीं मिला है। उनके परिवार ने जिलाधिकारी से लेकर केंद्र सरकार तक गुहार लगाई है और राहुल गांधी से भी मदद की अपील की है।

परिजनों ने बताया कि चांद बाबू और लक्ष्मण पांच साल पहले मछली पकड़ते समय तेज हवाओं में बहकर पाकिस्तान सीमा में चले गए थे और पाकिस्तानी सेना ने उन्हें गिरफ्तार कर कराची जेल भेज दिया। परिवार के लिए यह सिर्फ कानूनी मामला नहीं, बल्कि अपने बच्चों के जीवन का सवाल है।

प्रधान रामप्रकाश ने कहा कि पंचायत स्तर से भी पत्र भेजे गए हैं और सरकार अगर समय पर कदम उठाए तो दोनों युवकों को सुरक्षित घर लाया जा सकता है।