बिहार सरकार के श्रम संसाधन मंत्री संतोष सिंह ने राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव पर तीखा हमला किया है। उन्होंने कहा कि लालू यादव के शासनकाल में ही मेरे पुत्र का भी अपहरण हुआ था, और इसका दर्द मैं भली-भांति समझ सकता हूं। उन्होंने कहा लालू प्रसाद के शासनकाल में बिहार में भ्रष्टाचार, फिरौती और अपहरण जैसी घटनाओं में भारी बढ़ोतरी हुई थी। उस समय राज्य में जंगलराज कायम था, जहां अपहरण और फिरौती एक उद्योग की तरह संचालित होते थे। उन्होंने कहा कि लालू के चरित्र से सभी लोग परिचित हैं। अब बिहार में जंगलराज नही है।  सूबे की जनता पीएम नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री नीतिश कुमार के डबल इंजन की सरकार के नेतृत्व में एक विकसित बिहार के साथ चलने को तैयार है। बिहार में  विकास की एक नयी रुपरेखा तैयार हो रही हैं।

मेरे बेटे का हुआ था अपहरण 
बिहार सरकार के श्रम संसाधन मंत्री संतोष सिंह ने यह बयान राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव के साले सुभाष यादव द्वारा लगाए गए गंभीर आरोपों के संदर्भ में दिया। उन्होंने कहा कि वह स्वयं लालू शासन में अपराध के शिकार हुए थे, जब उनके पुत्र का अपहरण हुआ था। उस समय वह न्याय की उम्मीद में सुभाष यादव के पास गए थे, लेकिन उन्हें कोई मदद नहीं मिली।

सुभाष यादव को पहले ही बोलना चाहिए था
बिहार सरकार के श्रम संसाधन मंत्री संतोष सिंह ने कहा कि अब अगर सुभाष यादव भ्रष्टाचार और अपराध के खिलाफ बोल रहे हैं, तो यह सही दिशा में उठाया गया कदम है। हालांकि, उन्हें उसी समय अपने जीजा लालू प्रसाद का विरोध करना चाहिए था। उन्होंने कहा कि आज सुभाष यादव को सद्बुद्धि मिली है, यह अच्छी बात है।

लालू राज में कानून-व्यवस्था नाम की कोई चीज नहीं थी
बिहार सरकार के श्रम संसाधन मंत्री संतोष सिंह ने कहा कि लालू प्रसाद के शासनकाल में बिहार की जनता अपहरण और फिरौती की घटनाओं से त्रस्त थी। राज्य में कानून-व्यवस्था नाम की कोई चीज नहीं थी और जनप्रतिनिधियों की कोई सुनवाई नहीं होती थी।