रायपुर उत्तर से भाजपा विधायक पुरंदर मिश्रा ने पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल की गिरफ्तारी के खिलाफ कांग्रेस द्वारा किए गए आर्थिक नाकेबंदी आंदोलन पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कांग्रेस प्रभारी सचिन पायलट पर निशाना साधते हुए कहा कि पार्टी अब दिल्ली में 'पप्पू' और छत्तीसगढ़ में 'बिट्टू' के इर्द-गिर्द सिमट गई है।

मिश्रा ने कटाक्ष करते हुए कहा कि कांग्रेस ने जिस दिन आर्थिक नाकेबंदी करवाई, उस दिन मज़दूरी पर लाए गए कई श्रमिकों को भुगतान नहीं मिला और वे बाद में इसको लेकर विरोध करते देखे गए। उन्होंने कहा कि कांग्रेस प्रदेश प्रभारी सचिन पायलट को कम से कम इन मज़दूरों की मजदूरी का भुगतान सुनिश्चित करना चाहिए।

भाजपा विधायक ने आगे सवाल उठाते हुए कहा कि क्या कांग्रेस अब केवल परिवारवाद का ही प्रतीक बनकर रह गई है? उन्होंने कांग्रेस के आंदोलन पर भी सवाल खड़े किए और कहा कि यह न तो किसी जनहित के मुद्दे पर था और न ही प्रदेश के विकास से जुड़ा था। मिश्रा ने कहा कि यह आंदोलन केवल शराब घोटाले में 16.70 करोड़ रुपये के निवेश और 1,000 करोड़ की कथित वित्तीय अनियमितता के मामले में गिरफ्तार भूपेश बघेल के बेटे के बचाव के लिए किया गया, जो पार्टी पदाधिकारी भी नहीं हैं।

उन्होंने यह भी कहा कि 140 साल पुरानी पार्टी अब केवल परिवार की चिंता करने तक सीमित हो गई है। यदि कांग्रेस अपने घरों में ही आर्थिक अनुशासन लागू कर देती, तो ऐसी नौबत ही नहीं आती। उनका कहना था कि यह नाकेबंदी साबित करती है कि कांग्रेस अब व्यक्ति केंद्रित संगठन बन चुकी है, न कि जन सरोकारों वाली पार्टी।

सचिन पायलट का जवाब: कांग्रेस हर कार्यकर्ता के साथ

वहीं भाजपा विधायक के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस प्रदेश प्रभारी सचिन पायलट ने कहा कि पार्टी अपने हर कार्यकर्ता और परिवार के प्रत्येक सदस्य के साथ खड़ी है। उन्होंने स्पष्ट किया कि कोई भी साजिश कांग्रेस को पीछे हटने के लिए मजबूर नहीं कर सकती। पार्टी पूरी मजबूती से संघर्ष करती रहेगी।