परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हजारों छात्रों की भारी फीस हड़पने वाले फिटजी कोचिंग के संचालकों के खिलाफ पुलिस और ईडी की जांच सुस्त गति से चल रही है। इसी वजह से छात्रों को फीस वापसी की उम्मीद लगातार कम होती जा रही है। जांच एजेंसियां अभी तक कंपनी संचालक के खिलाफ ठोस कानूनी कार्रवाई करने और उनकी संपत्तियों को जब्त करने में नाकाम रही हैं।
जानकारी के मुताबिक, फिटजी कोचिंग संस्थान ने जनवरी में देश भर के अपने 32 सेंटर अचानक बंद कर दिए थे। इसके बाद लखनऊ, नोएडा, दिल्ली, भोपाल समेत कई शहरों में अभिभावकों ने संचालकों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई।
इस धोखाधड़ी की जांच के तहत ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत अप्रैल में दिल्ली, नोएडा और गुरुग्राम स्थित कोचिंग ठिकानों पर छापे मारे थे। इस दौरान लगभग 5 करोड़ रुपये के जेवरात और नकदी बरामद हुई थी। जांच में पता चला कि संचालकों ने करीब 14 हजार छात्रों से 206 करोड़ रुपए की फीस हड़पी थी।
ईडी ने कोचिंग संचालक डीके गोयल को कई बार पूछताछ के लिए तलब किया, लेकिन स्वास्थ्य कारणों के चलते वह पेश नहीं हुए। जांच में यह भी सामने आया कि डीके गोयल की पत्नी के नाम पर कई बेशकीमती संपत्तियां हैं, जिन्हें अभी तक जब्त नहीं किया जा सका है। इन संपत्तियों के जब्त न होने से छात्रों को फीस की वापसी की उम्मीद अभी तक पूरी नहीं हो पाई है।