गोवा मेडिकल कॉलेज में जारी डॉक्टरों की हड़ताल उस समय खत्म हो गई, जब मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने मंगलवार को चिकित्सकों से मुलाकात कर उनकी सभी सात मांगों को स्वीकार कर लिया। मुलाकात के बाद मीडिया से बातचीत में मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने डॉक्टरों की सभी मांगों को मंजूरी दे दी है और इस तरह की स्थिति दोबारा उत्पन्न न हो, इसके लिए भी प्रयास किए जाएंगे।

स्वास्थ्य मंत्री की फटकार से शुरू हुआ था विवाद
दरअसल, विवाद तब शुरू हुआ जब स्वास्थ्य मंत्री विश्वजीत राणे कॉलेज के औचक निरीक्षण पर पहुंचे थे। इस दौरान शिकायतों के आधार पर उन्होंने वरिष्ठ डॉक्टर डॉ. रुद्रेश कुट्टीकर को कड़ी फटकार लगाई और निलंबन का आदेश दे दिया। मंत्री के इस व्यवहार का वीडियो वायरल हुआ, जिससे डॉक्टरों में नाराजगी फैल गई। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन और गोवा एसोसिएशन ऑफ रेजीडेंट डॉक्टर्स ने इस घटना पर कड़ी आपत्ति जताई और मंत्री से सार्वजनिक माफी की मांग की।

मुख्यमंत्री ने की पहल, मंत्री ने भी मांगी माफी
स्थिति को गंभीर होता देख मुख्यमंत्री ने डॉ. कुट्टीकर का निलंबन रद्द कर दिया, लेकिन डॉक्टरों ने आंदोलन जारी रखा। अंततः स्वास्थ्य मंत्री ने भी सोशल मीडिया पर माफी मांगी। उन्होंने लिखा कि दौरे के दौरान उनकी भावनाएं उन पर हावी हो गईं और उन्होंने जिस भाषा का प्रयोग किया, उसके लिए उन्हें खेद है।

हड़ताल खत्म करने पर डॉक्टरों का धन्यवाद
मुख्यमंत्री से चर्चा के बाद डॉक्टरों ने हड़ताल वापस लेने का फैसला लिया। सीएम सावंत ने चिकित्सकों का आभार जताते हुए भरोसा दिलाया कि राज्य सरकार भविष्य में भी उनकी समस्याओं को प्राथमिकता के साथ सुनेगी और समाधान के लिए तत्पर रहेगी।