गोवा के रोमियो लेन स्थित बिर्क नाइट क्लब में लगी भीषण आग के मामले में कार्रवाई तेज हो गई है। घटना के सह-मालिक अजय गुप्ता को गोवा पुलिस ने नई दिल्ली से हिरासत में ले लिया। उनके खिलाफ पहले से लुकआउट नोटिस जारी था। गिरफ्तारी के बाद दिए गए अपने प्रारंभिक बयान में गुप्ता ने कहा कि वह सिर्फ एक साझेदार हैं और आग लगने से जुड़े संचालन से उनका कोई संबंध नहीं है।
इधर, क्लब के मुख्य मालिकों—गौरव लूथरा और सौरभ लूथरा—ने दिल्ली की रोहिणी अदालत में अग्रिम जमानत याचिका दायर कर दी है, जिस पर आज सुनवाई होनी है।
आग में गई 25 लोगों की जान
इस अग्निकांड में कुल 25 लोगों की मौत हुई थी। मृतकों में क्लब के 20 कर्मचारी शामिल थे, जो आखिरी में बाहर निकल पाए। इसके अलावा पांच पर्यटकों की भी जान गई। शुरुआती जांच में सिलेंडर विस्फोट को वजह बताया गया था, लेकिन बाद में चश्मदीदों और तकनीकी जांच में इलेक्ट्रिक पटाखों से आग फैलने की आशंका सामने आई।
लूथरा बंधु की तलाश तेज, इंटरपोल मदद में
पुलिस के अनुसार घटना के कुछ ही घंटों बाद लूथरा बंधु भारत छोड़कर थाईलैंड चले गए थे। उन्हें वापस लाने के लिए गोवा पुलिस ने इंटरपोल से सहायता मांगी है। दोनों के खिलाफ ब्लू कॉर्नर नोटिस जारी करवाने की प्रक्रिया चल रही है, जिससे प्रत्यर्पण में आसानी होगी। अजय गुप्ता ने भी लूथरा भाइयों पर ही लापरवाही का पूरा ठीकरा फोड़ा है।
अब तक की कार्रवाई
अग्निकांड के बाद पुलिस ने क्लब के मुख्य महाप्रबंधक राजीव मोदक, महाप्रबंधक विवेक सिंह, बार प्रबंधक राजीव सिंहानिया और गेट प्रबंधक रियांशु ठाकुर को गिरफ्तार किया था। बाद में दिल्ली से क्लब के एक कर्मचारी भरत कोहली को भी पकड़ा गया। क्लब के मालिकों और आयोजन टीम के खिलाफ एफआईआर दर्ज है।
सरकारी स्तर पर बड़े कदम
घटना के बाद गोवा सरकार ने तीन वरिष्ठ अधिकारियों को निलंबित किया है। इनमें पंचायत निदेशक भी शामिल हैं, जिन पर 2023 में क्लब के लाइसेंस प्रक्रिया में अनियमितताओं के आरोप हैं। इसके साथ ही दक्षिण गोवा के कलेक्टर, दमकल व आपात सेवा के उप निदेशक और फॉरेंसिक लैब निदेशक को मिलाकर एक विशेष जांच पैनल बनाया गया है, जिसे एक सप्ताह में रिपोर्ट सौंपनी है।