दिल्ली में हाल ही में हुए कार धमाके के बाद से सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हैं और विशेष ध्यान कश्मीर मूल के डॉक्टरों और मेडिकल छात्रों पर दे रही हैं। जांच में पता चला कि धमाके के तार कुछ कश्मीरी डॉक्टरों से जुड़े हैं, जिसके बाद एटीएस ने दिल्ली, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में इन लोगों का पूरा ब्योरा जुटाना शुरू कर दिया है।

यूपी और हरियाणा में कश्मीरी छात्रों पर नजर
सूत्रों के अनुसार, उत्तर प्रदेश में लगभग 200 कश्मीरी डॉक्टर और मेडिकल छात्र एटीएस की निगरानी में हैं। एजेंसियां उनके कॉलेज और विश्वविद्यालयों के संपर्क में हैं, जबकि कानपुर, लखनऊ, मेरठ और सहारनपुर जैसे शहरों में भी नजर रखी जा रही है। इसी क्रम में कानपुर के हरकोर्ट बटलर टेक्निकल यूनिवर्सिटी (एचबीटीयू) के 52 कश्मीरी छात्रों का ब्योरा जुटाया गया है।

गुरुग्राम में पढ़ रहे करीब 500 कश्मीरी छात्रों ने भी सुरक्षा की अनिश्चितता और लगातार पूछताछ से डरकर घर लौटना शुरू कर दिया है। मकान मालिकों ने भी सत्यापन के लिए आवश्यक दस्तावेज मांगे हैं।

एटीएस की जांच का केंद्र
एटीएस यह पता लगा रही है कि हाल ही में गिरफ्तार की गई डॉ. शाहीन और डॉ. आरिफ का इनमें से किसी छात्र से कोई संपर्क तो नहीं था। फरीदाबाद, गुरुग्राम, दिल्ली और अन्य क्षेत्रों में भी कश्मीरी छात्रों की जानकारी जुटाई जा रही है।

हरियाणा की महिला डॉक्टर से पूछताछ
सफेदपोश आतंकी मॉड्यूल मामले में रविवार को अनंतनाग जिले में हरियाणा की एक महिला डॉक्टर को हिरासत में लिया गया। उनसे गिरफ्तार डॉक्टर आदिल से जुड़े विवरण पूछे गए। बाद में उन्हें छोड़ दिया गया, लेकिन उनका फोन फोरेंसिक जांच के लिए रखा गया है। जानकारी के अनुसार, महिला डॉक्टर अनंतनाग के गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज में डॉक्टर आदिल की जूनियर थीं।