नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष और जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. फारूक अब्दुल्ला ने हाल ही में माता वैष्णो देवी के दर्शन किए। उन्होंने श्रीनगर से कटरा तक हाल ही में शुरू की गई वंदे भारत ट्रेन से सफर करते हुए पहली बार यह यात्रा की। दर्शन के बाद अब्दुल्ला ने बताया कि उन्होंने देश के लिए अमन, विकास और भाईचारे की कामना की है।

वंदे भारत ट्रेन को बताया बदलाव का प्रतीक
फारूक अब्दुल्ला ने ट्रेन यात्रा के अनुभव को बेहद खास बताया और कहा कि यह नई शुरुआत जम्मू-कश्मीर के पर्यटन को नई गति देगी। उन्होंने कहा कि यह सिर्फ वैष्णो देवी ही नहीं, अमरनाथ यात्रा के लिए भी श्रद्धालुओं को सुगमता प्रदान करेगी।

"माता का बुलावा आया है"
डॉ. अब्दुल्ला श्रीनगर के नौगाम स्टेशन से वंदे भारत में सवार हुए और कटरा पहुंचने पर उपमुख्यमंत्री सुरिंदर चौधरी व जम्मू एनसी अध्यक्ष रतन लाल गुप्ता ने उनका स्वागत किया। स्टेशन पर उतरते समय उन्होंने भावुक होकर कहा, “माता ने बुलाया है, शेरा वाली का बुलावा आया है।”

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विकास से हुए भावुक, कहा- अब कश्मीर जुड़ गया भारत से
अब्दुल्ला ने कहा कि रेल नेटवर्क से कश्मीर का जुड़ना ऐतिहासिक है। यह देखकर उनकी आंखें नम हो गईं। उन्होंने रेलवे इंजीनियरों और श्रमिकों को इस उपलब्धि के लिए बधाई दी और कहा कि अब अमरनाथ यात्रा के दौरान तीर्थयात्रियों की आवाजाही और भी सुगम हो जाएगी। इस वर्ष यह यात्रा 3 जुलाई से प्रारंभ होगी।

मोदी ने दिखाई थी ट्रेन को हरी झंडी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 6 जून को श्रीनगर-कटरा वंदे भारत ट्रेन के साथ-साथ उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल मार्ग के पूर्ण होने की घोषणा की थी। इस रेल लाइन ने कश्मीर को शेष भारत से रेल मार्ग द्वारा सीधे जोड़ दिया है।

यात्रा को बताया देश की एकता का प्रतीक
फारूक अब्दुल्ला ने वंदे भारत ट्रेन को ‘जनता की जीत’ बताया। उन्होंने उम्मीद जताई कि इससे व्यापार को बढ़ावा मिलेगा और देश के विभिन्न हिस्सों से तीर्थयात्री अमरनाथ गुफा मंदिर की यात्रा के लिए अधिक संख्या में पहुंचेंगे। साथ ही उन्होंने कहा कि यह रेल सुविधा देश में आपसी प्रेम और एकता को और सशक्त करेगी।