नई दिल्ली: सितंबर 2025 में खुदरा महंगाई दर (CPI आधारित) घटकर 1.54 प्रतिशत रह गई, जो अगस्त में 2.07 प्रतिशत थी। पिछले वर्ष इसी महीने यह दर 5.49 प्रतिशत थी। यह जानकारी सोमवार को राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) द्वारा जारी आंकड़ों में सामने आई।

NSO ने बताया कि इस गिरावट के पीछे मुख्य रूप से अनुकूल आधार प्रभाव और सब्जियों, तेल व वसा, फलों, दालों और अनाज, अंडे, ईंधन व प्रकाश सामग्री की कीमतों में कमी रही। सितंबर 2025 में वर्ष-दर-वर्ष खाद्य मुद्रास्फीति -2.28 प्रतिशत रही, जबकि अगस्त में यह -0.64 प्रतिशत और पिछले साल इसी महीने 9.24 प्रतिशत थी।

मुद्रास्फीति के हालिया परिदृश्य को देखते हुए, रिजर्व बैंक ने अक्टूबर की द्विमासिक मौद्रिक नीति में 2025-26 के लिए मुद्रास्फीति अनुमान को अगस्त के 3.1 प्रतिशत से घटाकर 2.6 प्रतिशत कर दिया।

आरबीआई ने यह भी कहा कि वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में मुद्रास्फीति नियंत्रित रहने की संभावना है। इसका कारण दक्षिण-पश्चिम मानसून की अच्छी प्रगति, खरीफ फसलों की अधिक बुवाई, जलाशयों का पर्याप्त स्तर और खाद्यान्नों के पर्याप्त बफर स्टॉक को बताया गया। इससे खाद्य कीमतों में नरमी बनी रहने की उम्मीद है।