दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के पुराने मोबाइल नंबर का इस्तेमाल करके उनका करीबी होने का भ्रम पैदा करके ठगी से पैसा बनाने की फिराक में लगे एक ठग गिरोह का पर्दाफाश करते हुए पटियाला पुलिस ने इसके सरगना को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी जाली जमानत बांड और जाली दस्तावेज तैयार करने वाले गिरोह का सरगना भी रहा है।
एसएसपी वरुण शर्मा ने बुधवार को पटियाला की पुलिस लाइन में आयोजित पत्रकार वार्ता में बताया कि पुलिस ने 19 जून को लाहौरी गेट थाने में मामला दर्ज कर एक ऐसे ठग गिरोह का पर्दाफाश किया था, जो विभिन्न अदालतों में आदतन अपराधियों के लिए फर्जी बेल बांड और जाली दस्तावेज तैयार करके जमानतें दिलाने का काला कारोबार कर रहे थे। जब इस गिरोह के सरगना जय किशन भारद्वाज निवासी संतोष कॉलोनी, धारूहेड़ा, जिला रेवाड़ी, हरियाणा को गिरफ्तार कर उसके 5 फोन जब्त कर पूछताछ की गई, तो पुलिस को उसके और भी बड़े ठग होने के सबूत मिले।
एसएसपी ने बताया कि उक्त आरोपी ने अपने सूत्रों के माध्यम से वोडाफोन कंपनी का नंबर प्राप्त किया था, जिसका इस्तेमाल कभी दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के पंजाब प्रभारी मनीष सिसोदिया करते थे। जब पुलिस ने आरोपी से बरामद नंबरों की फॉरेंसिक जांच करवाई, तो चौंकाने वाले खुलासे हुए। आरोपी जय किशन ने मनीष सिसोदिया का करीबी होने का भ्रम पैदा करने और प्रभाव जमाने के लिए इस नंबर का इस्तेमाल किया। इस नंबर के जरिये आरोपी ने पंजाब की राजनीतिक हस्तियों, विधायकों और सरकारी अधिकारियों को व्हाट्सएप मैसेज भेजकर संपर्क करने की कोशिश की। वह कई लोगों को अपने जाल में फंसाकर पैसे कमाने की कोशिश कर रहा था, लेकिन अभी तक कामयाब नहीं हो पाया था।
एसएसपी ने बताया कि यह ठगी करने वाला गिरोह है और इसका सरगना जय किशन इससे पहले हरियाणा में एक महिला से फर्जी सीबीआई अधिकारी बनकर लाखों रुपये की ठगी कर चुका है, जिसमें उसे तीन साल की सजा भी हुई थी। सरगना जय किशन ने अपनी चैट में खुद को दिल्ली के पूर्व उप मुख्यमंत्री का करीबी बताया था और ठगी करने की साजिश रची थी। आरोपी ने वोडाफोन में अपने किसी करीबी की मदद से यह नंबर हासिल किया था। इसकी भी जांच की जा रही है।