नई दिल्ली: बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों, खासकर हिंदुओं के साथ हो रही हिंसा के विरोध में आज दिल्ली के चाणक्यपुरी स्थित बांग्लादेश उच्चायोग के बाहर हजारों लोग इकट्ठा हुए। प्रदर्शनकारियों को उच्चायोग तक जाने से रोकने के लिए दिल्ली पुलिस और अर्द्धसैनिक बलों की भारी तैनाती की गई है। सभी को कुछ सौ मीटर पहले ही रोक लिया गया है।

विश्वभर में बांग्लादेश में हिंदुओं, सिखों और ईसाइयों पर हो रही अमानवीय हिंसा को लेकर गहरी चिंता और आक्रोश है। हाल ही में वहां एक हिंदू युवक की भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या की गई और उसके शव को पेड़ पर टांगकर आग लगा दी गई, जिससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सनसनी फैल गई। इसके अलावा, घरों को जला देने की घटनाएं भी लगातार सामने आ रही हैं।

आज दिल्ली में चाणक्यपुरी उच्चायोग के पास साधु-संतों, हिंदू संगठनों और आम नागरिकों की भीड़ ने जमकर प्रदर्शन किया और भारत सरकार से कड़ी कार्रवाई की मांग की। इस प्रदर्शन में दिल्ली के अलावा गाजियाबाद, नोएडा और हरियाणा समेत अन्य राज्यों के लोग भी शामिल हुए।

पुलिस ने राधे कृष्ण मार्ग को पूरी तरह से बंद कर सुरक्षा के कई स्तर लगाए हैं। बैरिकेडिंग के बावजूद प्रदर्शनकारी नारेबाजी कर अपने आक्रोश को व्यक्त कर रहे हैं। विहिप के वरिष्ठ पदाधिकारी सुबोध रावत ने कहा कि बांग्लादेश में जेहादी मानसिकता के लोग धर्म के आधार पर अल्पसंख्यकों का शिकार कर रहे हैं।

रावत ने यह भी बताया कि महिलाओं के साथ उत्पीड़न और पीट-पीटकर हत्या जैसी घटनाएं आम हैं, और इन हिंसाओं में बांग्लादेश सरकार की उदासीनता साफ दिखाई देती है।