हरियाणा के सोनीपत जिले में 3 नवंबर को हुई पूर्व रणजी खिलाड़ी और कोच रामकरण शर्मा की हत्या के मामले में पुलिस ने मंगलवार रात नौ दिन बाद बड़ी सफलता हासिल की। मामले का मुख्य आरोपी और पूर्व नगर पालिका उपाध्यक्ष सुनील लंबू को गिरफ्तार किया गया। हत्या के बाद वह मथुरा और जम्मू-कश्मीर भाग गया था।
चुनावी रंजिश थी वजह
जानकारी के अनुसार, सुनील लंबू और रामकरण शर्मा के बीच दुश्मनी का आरंभ नगर पालिका चुनाव से हुआ था। चुनाव में सुनील की पत्नी रामकरण शर्मा की बहू से हार गई थी, जिसके बाद लंबू ने शर्मा से रंजिश रखनी शुरू कर दी।
घटना का तरीका
3 नवंबर की शाम रामकरण शर्मा अपने गन्नौर स्थित घर से शादी समारोह में जा रहे थे। रास्ते में सुनील लंबू वहां पहुंचा और शिष्टाचार के नाम पर प्रणाम किया। रामकरण ने गाड़ी रुकवाई और खिड़की उतारी, तभी लंबू ने लाइसेंसी रिवाल्वर से तीन गोली मार दी। घटना के बाद अफरा-तफरी मच गई। सीसीटीवी फुटेज में साफ देखा गया कि वारदात अकेले सुनील ने अंजाम दी।
आरोपी की तलाश और गिरफ्तारी
हत्याकांड के बाद सुनील लंबू पुलिस की पकड़ से बचते हुए पहले मथुरा और फिर जम्मू-कश्मीर चला गया। पुलिस ने उसके पासपोर्ट रद्द कर दिए और बैंक खाते फ्रीज कर दिए। लगातार ठिकाना बदलने के बावजूद स्पेशल एंटी गैंगस्टर यूनिट को बुधवार को बीसवां मील राई में उसके होने की सूचना मिली और उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
पांच दिन की रिमांड में साक्ष्य जुटाएगी पुलिस
डीसीपी क्राइम नरेंद्र कादियान ने बताया कि सुनील लंबू को पांच दिन की रिमांड पर लिया गया है। पुलिस हत्या में प्रयुक्त रिवाल्वर और अन्य साक्ष्य जुटाकर अदालत में मजबूत चार्जशीट दाखिल करेगी। गिरफ्तारी के बाद आरोपी माफी मांगता भी नजर आया। जांच में अब तक यही सामने आया है कि वारदात के पीछे चुनावी रंजिश ही मुख्य कारण था।
यह घटना सोनीपत में राजनीतिक और सामाजिक रूप से भी चर्चा का विषय बनी हुई है, और पुलिस की सतत कार्रवाई से मामले में उम्मीद जताई जा रही है कि न्याय शीघ्र मिलेगा।