लखनऊ: भाजपा के शीर्ष नेताओं ने मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) अभियान में सुस्ती बरतने वाले पार्टी कार्यकर्ताओं को चेतावनी दी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, प्रदेश अध्यक्ष पंकज चौधरी और भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव तरुण चुग ने रविवार को राजधानी में आयोजित कार्यशाला में स्पष्ट किया कि यदि एसआइआर में लापरवाही हुई तो इसका असर अगले 20 साल तक महसूस किया जा सकता है।
कार्यशाला में मुख्यमंत्री योगी ने मंत्रियों, विधायकों और बूथ स्तर तक के पदाधिकारियों से कहा कि जिन सीटों पर जीत का अंतर बेहद कम है, वहां किसी भी तरह की सुस्ती नुकसानदेह हो सकती है। उन्होंने कार्यकर्ताओं को हिदायत दी कि वे घर-घर जाकर कटे हुए या स्थानांतरण, मृत या अनुपस्थित मतदाताओं के नामों को अपडेट करें और फर्जी मतदाताओं की पहचान कर आपत्तियां दर्ज कराएं।
मुख्यमंत्री ने विशेष रूप से लखनऊ कैंट, आगरा दक्षिणी, मिल्कीपुर, हरदोई और लखीमपुर समेत तीन दर्जन से अधिक विधानसभा क्षेत्रों में 18-20 फीसदी मतदाताओं के नाम कटे होने की जानकारी साझा की। उन्होंने कहा कि ऐसे नामों को तुरंत जोड़ना आवश्यक है और विपक्ष द्वारा जुड़वाए जा रहे फर्जी मतदाताओं की भी निगरानी की जाए।
कार्यशाला में उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक ने भी एसआइआर अभियान की अहमियत पर जोर देते हुए कहा कि यदि यह काम सही ढंग से किया गया तो विपक्षी षड्यंत्र का करारा जवाब मिलेगा।
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव तरुण चुग ने भी चिंता जताई और कहा कि एसआइआर में काम नहीं करने पर पार्टी अगले 20 साल के चुनाव परिणामों में पछताएगी। उन्होंने सांसदों और विधायकों को स्पष्ट शब्दों में चेताया कि जो चुनाव लड़ना चाहते हैं, उन्हें एसआइआर में पूरी मेहनत करनी होगी।
प्रदेश अध्यक्ष पंकज चौधरी ने कार्यकर्ताओं को यह समझाया कि एसआइआर एक कठिन परीक्षा की तरह है, जिसमें 100 प्रतिशत परिणाम लाना आवश्यक है। प्रदेश महामंत्री धर्मपाल सिंह ने भी बूथ से लेकर प्रदेश स्तर तक चल रही टीमों और उनके कार्यों की विस्तृत जानकारी साझा की और सभी को ईमानदारी से जिम्मेदारी निभाने की हिदायत दी।
कार्यशाला में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, ब्रजेश पाठक, प्रदेश अध्यक्ष पंकज चौधरी, महामंत्री धर्मपाल सिंह, भाजपा के अन्य प्रदेश पदाधिकारी, विधायक, जिला अध्यक्ष और बूथ लेवल एजेंट-1 (बीएलए) शामिल थे।