आध्यात्मिक संत प्रेमानंद महाराज को लेकर फैलाए जा रहे कथित भ्रामक बयानों के मामले में अभिनेत्री दिशा पाटनी की बहन खुशबू पाटनी ने एक बार फिर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए साफ किया है कि उन्हें बदनाम करने की कोशिशें अब बर्दाश्त नहीं की जाएंगी। उन्होंने दोहराया कि उनका वायरल वीडियो, जिसे गलत तरीके से एडिट करके सोशल मीडिया पर फैलाया गया, दरअसल गुरु अनिरुद्धाचार्य से जुड़ा था, न कि प्रेमानंद महाराज से।
खुशबू ने यह भी बताया कि उन्होंने पहले ही इंस्टाग्राम पोस्ट के ज़रिये इस बात की सफाई दी थी, लेकिन कई लोग अब भी जानबूझकर गलतफहमियां फैला रहे हैं। इसके बाद उन्होंने एक और वीडियो जारी कर स्थिति को और स्पष्ट किया।
ट्रोलिंग का सामना, नाराज अनुयायी भेज रहे आपत्तिजनक संदेश
वीडियो में खुशबू ने कहा कि दोनों संतों के अनुयायी उन्हें अपशब्द कह रहे हैं और सोशल मीडिया पर लगातार आपत्तिजनक संदेश भेज रहे हैं। उन्होंने अपील की कि बिना पूरी जानकारी के किसी भी भ्रामक दावे पर यकीन न करें। उन्होंने अपने वीडियो कैप्शन में लिखा, “मेरे खिलाफ फर्जी खबरें फैलाई जा रही हैं, यह मेरी छवि को धूमिल करने की सुनियोजित साजिश है।”
खुशबू की चेतावनी: कानूनी कार्रवाई तय
खुशबू पाटनी ने दो टूक कहा कि जो लोग सोशल मीडिया या अन्य माध्यमों से उनके खिलाफ जानबूझकर झूठा प्रचार कर रहे हैं, उनके विरुद्ध वह कानूनी कार्रवाई करेंगी। उन्होंने कुछ यूजर्स और यूट्यूब चैनलों का नाम लेते हुए कहा कि यह ट्रोलिंग न केवल उनकी मानसिक शांति भंग कर रही है बल्कि उन्हें असुरक्षित भी बना रही है।
उन्होंने स्पष्ट किया कि वह मानहानि, फर्जी कंटेंट फैलाने, महिला की गरिमा को ठेस पहुंचाने, और साइबर अपराध से जुड़े मामलों में भारतीय दंड संहिता की धारा 465, 469, 499, 500, 505(1)(बी) और आईटी एक्ट की धारा 66, 66डी व 67 के अंतर्गत मुकदमा दर्ज कराएंगी।
विवाद की पृष्ठभूमि
यह विवाद उस समय शुरू हुआ जब अनिरुद्धाचार्य महाराज ने एक प्रवचन के दौरान लिव-इन रिलेशनशिप में रहने वाली महिलाओं को लेकर टिप्पणी की, जिसे लेकर खुशबू पाटनी ने सोशल मीडिया पर नाराजगी जताई। बाद में प्रेमानंद महाराज का भी एक वीडियो सामने आया, जिसमें समान मुद्दे पर बयान था। इसके बाद सोशल मीडिया पर यह अफवाह फैलने लगी कि खुशबू ने प्रेमानंदजी के खिलाफ बयान दिया है। इस भ्रम के चलते प्रेमानंदजी को कथित रूप से धमकियां भी मिलीं।
खुशबू ने इन दावों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि प्रेमानंद महाराज को लेकर उन्होंने कोई टिप्पणी नहीं की थी और उनकी छवि को नुकसान पहुंचाने की कोशिश करने वालों के खिलाफ वह सख्त कदम उठाएंगी।