हिमाचल प्रदेश के कुल्लू जिले की शिली राजगिरी पंचायत में सोमवार को पहाड़ी पर अचानक बादल फटने से भारी तबाही मच गई। बाढ़ की वजह से भाखली और चेष्टा नाले उफान पर आ गए, जिससे मलबा शगाड़ गांव के घरों तक पहुंच गया।

हालांकि इस घटना में अब तक किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है, लेकिन लोग अपने घर छोड़कर सुरक्षित स्थानों पर चले गए हैं। बाढ़ से मोहर सिंह, खुशाल सिंह, प्रताप चंद, गोपाल और डोले राम सहित कई लोगों के घरों को नुकसान हुआ है।

सूत्रों के अनुसार, पहाड़ी पर बादल फटने के बाद पानी दो रास्तों में बंट गया। शिली राजगिरी में एक मकान में दो लोग फंसे हुए थे, जिन्हें सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। शगाड़ गांव में मोहर सिंह के तीन और खुशाल सिंह के चार पशु मलबे में दबे होने की आशंका है।

डाबरी और भाखली नाले में भी पानी का उफान बढ़ गया, जिससे नुकसान और बढ़ा। कहुधार नाले में भी बाढ़ आने से कई लोगों के बगीचे प्रभावित हुए। कुल्लू में हाल ही में प्राकृतिक आपदाओं ने 12 लोगों को अपनी चपेट में लिया था, जिनमें नौ की मौत और तीन घायल हुए थे।

मणिकर्ण के छैंउंर नाले में भी बाढ़ आई है, लेकिन अभी तक नुकसान का पूरा आकलन नहीं हो पाया है। रात के कारण लोग अपने घर छोड़कर सुरक्षित स्थानों पर चले गए। कुल्लू के एसडीएम निशांत ठाकुर ने बताया कि शगाड़ गांव में मलबा घरों तक पहुंचा है और कुछ पशुओं को भी नुकसान हुआ है।