केंद्र को 9900 करोड़ का मेमोरेंडम ऑफ लॉस दिया, प्रदेश को सिर्फ 397 करोड़ मिले: सुक्खू

हिमाचल प्रदेश विधानसभा के शीत सत्र के दूसरे दिन सदन में स्टोन क्रशर बंद करने का मामला गूंजा। प्रश्नकाल में इस संबंध में पहला प्रश्न सुलह के विधायक विपिन सिंह परमार ने किया। उन्होंने कहा कि स्टोन क्रशर बंद करने के मामले में क्यों तीन जिलों को ही टारगेट किया गया। इस पर मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने कहा कि ब्यास और उसकी सहायक नदियों के इर्द-गिर्द बहुत नुकसान हुआ। उन्होंने कहा कि यह सामान्य प्रक्रिया है।

हमेशा से यही रहा है। इस संबंध में कमेटी ने लगभग 80 क्रशरों को रद्द किया है। ऐसे तमाम क्रशर कानूनी तरीके से नहीं लगे थे। कमेटी ने ऐसा पाया है। हाई पॉवर कमेटी बनाई गई है। कुछ क्रशरों को खोल दिया गया है। जब वे कानूनी प्रक्रियाओं को पूरा करेंगे तो उनकी बहाली की जाएगी। कैप्टिव क्रशरों में ज्यादा समस्या है, जो किसी परियोजना के साथ लगाए गए हैं।

कमियों को रोकने के लिए हाईपावर कमेटी की बैठक हुई है। सरकार को कोई राजस्व नुकसान  नहीं हुआ है। वित्त वर्ष 2022-23 में 242 करोड़ रुपये का राजस्व मिला था। इस साल 15 दिसंबर 2023 को 204 करोड़ रुपये की आमदनी हो गई है। यह पिछले साल से बढ़ जाएगा।

अनुपूरक सवाल में भाजपा विधायक बिक्रम सिंह ने कहा कि 112 क्रशर बंद किए गए हैं। रेत, बजरी के रेट तीन गुना हो गए। कई लोग बेरोजगार हो गए।। इनको कांगड़ा और यह क्षेत्र ही नजर आया। सोलन और सिरमौर में क्रशर बंद क्यों नहीं किए गए। यह कहना सही नहीं है कि राजस्व नुकसान नहीं हुआ। मंत्री और मुख्यमंत्री के जवाब से असंतोष जताते हुए विपक्ष ने सदन में नारेबाजी शुरू कर दी। सरकार पर तानाशाही का आरोप लगाते हुए सदन से विपक्ष ने वाकआउट कर दिया।सीएम सुखविंद्र सिंह सूक्ख ने कहा कि सरकार कायदे-कानूनों से चलती है। 128 क्रशर ब्यास बेसिन पर थे। ब्यास नदी ने तबाही मचाई। अधिसूचना के अनुसार क्रशर 15 सितंबर तक होते हैं। क्रशर खोलने के लिए नियमों को पूरा करने की जरूरत होती है। सरकार इस बात पर भी विचार कर रही है। सरकार बजरी का रेट कोस्ट ऑफ प्रोडक्शन से हिसाब से तय करने पर विचार कर रही है, जिससे जनता पर बोझ न हो। 

कांगड़ा में माइनिंग प्लान कुछ और था। इससे रॉयल्टी सरकार को नहीं मिल पाई। इसकी भी जांच करवाई जाएगी। साल का 500 करोड़ रुपये माइनिंग से रॉयल्टी का मिलना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि गलत किसी के साथ नहीं होगा, मगर जो कायदे-कानूनों के खिलाफ गैर कानूनी खनन करेगा, उस पर कार्रवाई होगी।प्रश्नकाल में कसौली के विधायक विनोद सुल्तानपुरी ने प्रश्न किया कि क्या सरकार एपीएमसी के कर्मचारियों के लिए सेवानिवृत्त होने के बाद पेंशन देने का प्रावधान करने जा रही है। इसके जवाब में कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने कहा कि यह मामला सरकार के स्तर पर विचाराधीन है। 

ज्वालामुखी के विधायक संजय रतन ने पूछा कि उनके क्षेत्र में कब तक लोक निर्माण विभाग का मंडल खोला जाएगा। इसके जवाब में मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा कि नए साल में बजट आएगा तो ज्वालामुखी में मंडल खोलने का विचार होगा। इससे पूर्व लोकनिर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि विभाग की कार्यात्मक क्षमता के आधार पर इस बारे में जल्दी निर्णय लिया जाएगा।

चंबा के विधायक नीरज नैयर के सवाल के जवाब में मुख्यंमत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा कि चंबा मेडिकल कॉलेज को सरकार ने 205 करोड़ रुपये दिए हैं। इस महाविद्यालय के लिए चंबा-तीसा मुख्य मार्ग से भी अतिरिक्त वाहन योग्य सड़क बनाने का जहां तक मामला है, इसे विधायक प्राथमिकता में डाला जा सकता है। बल्ह के विधायक इंद्र सिंह गांधी के सवाल के जवाब में राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने कहा कि किसी को मुआवजा मिला है तो सूची दें और इस पर जांच करेंगे। इसे दुरुस्त किया जाए। भेदभाव किया जा रहा है, यह सही नहीं है। गांधी ने सदन में आपदा राहत राशि का भेदभावपूर्ण आवंटन करने का आरोप लगाया। विपक्ष सदन से बाहर था, मगर इंद्र सिंह गांधी अकेले विधायक थे जो सवाल करने भीतर आए। जवाब सुनने के बाद वह भी बाहर चले गए।

धर्मपुर के विधायक चंद्रशेखर के सवाल के जवाब में लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि विधायक राजेंद्र राणा, सुरेश कुमार और चंद्रशेखर के साथ हमीरपुर में बैठक करेंगे। जहां-जहां भी कोताही बरती जा रही है। वहां कड़ा संज्ञान लेंगे। यह मामला नितिन गडकरी से भी उठाया जाएगा। आपदा में नुकसान हुआ है। जिस तरह की रिटेनिंग वाल लगनी चाहिए थीं, वे नहीं लगी हैं। चंद्रशेखर ने हमीरपुर-मंडी-वाया धर्मपुर नेशनल हाइवे नंबर तीन के द्वितीय पैकेज पर एक सवाल किया था। निर्माण कार्यों की गुणवत्ता पर उन्होंने सवाल खड़ा किया।

गगरेट के विधायक चैतन्य शर्मा ने प्री प्राइमरी स्कूलों में रिक्तियों को भरने पर सवाल किया तो शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि 6000 प्राथमिक पाठशालाओं में प्री प्राइमरी स्कूल हैं। आने वाले समय मे 10 से ज्यादा जहां संख्या है, वहां एनटीटी शिक्षकों की नियुक्ति होगी।मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा कि 633 करोड़ रुपये केंद्र से आने की बात की जा रही है। भारत सरकार को 9900 करोड़ का मेमोरेंडम ऑफ लॉस दिया गया। केंद्रीय नियमों के अनुसार कम से कम 1605 करोड़ रुपए मिलने चाहिए थे। इसमें से भी 216 करोड़ रुपये पहले से ही दिए गए थे। 397 करोड़ रुपये की धनराशि ही केंद्र से आई है। 6.40 प्रतिशत ही कुल नुकसान का है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह भाजपा ने हिमाचल प्रदेश से किया है। हिमाचल की जनता सब जानती है कि कितना लोगों को ठगना है और बोलना है। केंद्र से विशेष पैकेज की उम्मीद नहीं की जा सकती है। 

सुक्खू ने कहा कि सांसद दिल्ली जाते हैं तो प्रधानमंत्री और गृह मंत्री से मिलने से घबराते हैं। मैं अंतिम सप्ताह में प्रधानमंत्री और गृहमंत्री से मिलने जाऊंगा। वहां हिमाचल के हितों की बात को फिर से उठाया जाएगा। सुक्खू ने कहा कि अगर अभी भी भाजपा विधायक चाहें तो उनके साथ दिल्ली जाकर प्रधानमंत्री और गृहमंत्री से मिल सकते हैं। हिमाचल के लोगों को आपदा से जो नुकसान हुआ है, एक-एक पाई करके उनके लिए मदद दी जाएगी।इस पर नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि अगर राशि देखें तो हिमाचल के लिए सबसे बड़ी है। केंद्र ने यह नहीं कहा कि आगे मदद नहीं मिलेगी। अपनी बात को केंद्र से ठीक तरह से रखें। ताली दोनों हाथ से बजती है। विकसित भारत यात्रा शुरू की गई है, जिससे भारत आने वाले समय में विकसित राज्यों में आएगा।

ये बदले की भावना से काम कर रहे हैं। केंद्र सरकार की योजनाओं को बंद कर रहे हैं। केंद्र से मदद आने के बावजूद कुछ नहीं किया। ऐसा कहना सही नहीं है। आगे लोकसभा चुनाव है। उसके लिए यह ऐसा कर रहे हैं। ये भाजपा सरकार पर कर्ज लेने का आरोप लगाते थे। अब ये 12 हजार करोड़ का कर्ज ले चुके हैं। 

जवाब में सीएम सुक्खू ने कहा कि अभी 340 करोड़ रुपये ही आए हैं। आप दिल्ली चलिए। आप जो टाइम निकालेंगे, मैं उसी वक्त आने को तैयार हैं। पेन निकालिए और टाइम दीजिए। हमने 2023-24 में कोई 12 हजार करोड़ का कर्ज नहीं लिया है।

नयना देवी के भाजपा विधायक रणधीर शर्मा ने रिकांगपिओ में एचटी लाइन में काम करते समय करंट लगने से टीमेट की मृत्यु होने पर सदन में ध्यानाकर्षण प्रस्ताव लाया। इस पर मुख्यमंत्री ने जवाब दिया कि इसकी जांच होनी चाहिए। टीमेट को किसने काम पर लगाया। ऐसे अधिकारी पर कार्रवाई की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि एक नियोजित शटडाउन के दौरान काम हो रहा था।

अचानक अजय कुमार नीचे की तरफ गिरने लगे। इसके बाद पोल से नीचे उतारा गया। इस पर पुलिस थाना रिकांगपिओ में एफआईआर हुई है। एक अन्य लाइन से इंडक्शन के बाद मृत्यु हुई है। इस बारे में अधीक्षण अभियंता की अध्यक्षता में एक कमेटी बनी है। अगर कोई दोषी पाया जाता है तो कार्रवाई करेंगे। इससे संबंधित नियमों को भी उसी हिसाब से बनाए जाने की ज़रूरत है। रणधीर शर्मा ने कहा कि वह शादीशुदा नहीं था। उसका छोटा भाई है, उसे क्या करुणामूलक नौकरी दी जाएगी। मां-बाप गरीब हैं। 

इस पर सीएम बोले कि जो भी नियमों में होगा, उसे किया जाएगा। सदन में मुख्यमंत्री ने हिमाचल प्रदेश पर्यटन विकास और रजिस्ट्रीकरण अधिनियम 2002 के संशोधन के लिए विधेयक पेश किया। इसे आगामी दिनों में पारित किया जाएगा।

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